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Page 1 of 41 ाकृितक िचकसा वान अथवा ाकृितक िचकसा णाली ाकृितक िचकसा वान अथवा ाकृितक िचकसा णाली ाकृितक िचकसा वान अथवा ाकृितक िचकसा णाली ाकृितक िचकसा वान अथवा ाकृितक िचकसा णाली उतनी ह पुरानी है जतनी क कृित ःवयं। इसके आधार ह- पंचतव- आकाश तव, वायु तव, अन तव, जल तव और पृवी तव। इस तरह यह णाली संसार म चिलत सभी िचकसा णािलय म से पुरानी अथवा उसक जननी है। वेद म जो संसार के आद मंथ ह। इस वान क समःत मोट-मोट बात जैसे जल िचकसा उपवास िचकसा आद का वणन पाया जाता है। वेदकाल के पुराणकाल म भी ाकृितक िचकसा चिलत थी। रोग को न करने के िलए हमारे देश म िमट का उपयोग ाचीन समय से ह कया जा रहा है। ाचीनकाल म कसी भी कार क दवाएं , हाःपटल आद नहं थे फर भी लोग आज क तुलना म काफ ःवःथ और लबी उ वाले होते थे। एक युग था जब क लोग ाकृितक प से ःवःथ रहते थे। वतमान समय क तरह ये लोग असमय म ह िनबल नहं होते थे। उनक शाररक, मानिसक तथा आमक तीन शयां शशाली बनी रहती थी। ाचीन समय के लोग वतमान समय क तरह न तो जद से बूढे़ होते थे और न ह कम उ के होते थे। ाचीन काल के लोग अपना जीवनयापन ाचीन िचकसा पित क ह सहायता से कया करते थे।

Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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Page 1: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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ाकितक िचकसा वान अथवा ाकितक िचकसा णालीाकितक िचकसा वान अथवा ाकितक िचकसा णालीाकितक िचकसा वान अथवा ाकितक िचकसा णालीाकितक िचकसा वान अथवा ाकितक िचकसा णाली उतनी ह

परानी ह जतनी क कित ःवय इसक आधार ह- पचत)व- आकाश त)व वाय त)व अ+न

त)व जल त)व और प-वी त)व इस तरह यह णाली ससार म चिलत सभी िचकसा

णािलय1 म स परानी अथवा उसक जननी ह वद1 म जो ससार क आद मथ ह इस वान

क समःत मोट-मोट बात जस जल िचकसा उपवास िचकसा आद का वण7न पाया जाता

ह वदकाल क पराणकाल म भी ाकितक िचकसा चिलत थी रोग1 को न9 करन क िलए

हमार दश म िमट का उपयोग ाचीन समय स ह कया जा रहा ह ाचीनकाल म कसी भी

कार क दवाए हाःपटल आद नह थ फर भी लोग आज क तलना म काफ ःवःथ और

ल=बी उ वाल होत थ एक यग था जब क लोग ाकितक प स ःवःथ रहत थ वत7मान

समय क तरह य लोग असमय म ह िनब7ल नह होत थ उनक शाररक मानिसक तथा

आमक तीन1 शAया शAशाली बनी रहती थी ाचीन समय क लोग वत7मान समय क तरह

न तो जBद स बढ होत थ और न ह कम उ क होत थ ाचीन काल क लोग अपना

जीवनयापन ाचीन िचकसा पFित क ह सहायता स कया करत थ

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ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया

ाचीन काल स ह हम यह ात हो चका ह क रोग1 का इलाज हमार चार1 ओर उपःथित

ाकितक तव1 क सहायता स कया जा सकता ह इHह तव1 क कारण ह हमारा जीवन

चलता रहता ह यद कसी कारणवश यह असतिलत हो जाता ह तो हमारा ःवाः-य खराब हो

जाता ह एक ऐसी ाचीन िचकसा णाली जो बना दवाओ क ह Lयायाम वौाम ःवNछता

उपवास आहार पानी हवा काश िमट आद क सतिलत उपयोग स ह शरर को रोग1 स मA

कर दती ह तथा LयA को ःवःथ और दघ7 जीवन का राःता दखाती ह वह ``ाकितक

िचकसा`` पFित कहलाती ह ाकितक िचकसा क अHतग7त िचकसा पFितया ह-

1 योग िचकसा

2 जल िचकसा

3 सय7 िचकसा

4 फल-सUजी िचकसा

योग िचकसायोग िचकसायोग िचकसायोग िचकसा

हमारा दश योिगय1 का दश कहा जाता ह आज भी ससार म भारतीय योग का अपना वशष

महव ह पWमी दश1 म माना जाता ह क भारतीय पवऽ मथ `रामायणacute म वण7त पपक

वमान का वण7न कवल कBपना माऽ नह ह रावण क नािभ म अमत होन क कारण वह अमर

हो गया था इसक बार म यरोपीय दश1 क वािनक1 को भी सNचाई नज़र आती ह महभारत

क यF म यA अ1 म परमाण सपHन अ भी थ अब यह िसF हो चका ह क महाभारत

क यF क बाद ौीकण भगवान ]ारा अज7न क रथ स उतरत ह रथ का जल जाना योिगराज

भगवान कण क कारण ह था योिगराज भगवान कण न योग क बल पर ह गोवध7न पव7त

को एक ह हाथ क अगली पर उठा िलया था इसी बल क कारण ह हनमान जी हमालय स

गधमादन पव7त को उठाकर लाय थ भगवान ौीकण का चब सदश7न इNछा क गित पर

चलता था आदकव शकराचाय7 न योग क बल स ह अपना शरर यागकर दसर दह को

धारण करक `कामशा` को सीखा और इसक बाद पन अपन शरर म आ गय यह सब योग

क कारण ह स=भव हआ था

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जापानी डाbटर1 न योग1 ]ारा यह िसF कया ह क योग शा म बताए गय शरर क

भीतर मौजद छह1 चब1 म अनHत ऊजा7 भर हई ह इन चब1 को जागत तथा िनयऽत करन स

चमकारक शAया उपHन होती ह पताजिल ऋष न योग को शरर म िछपी हई fमताओ क

उपयोग का साधन माना ह

ऋ+वद अथवgद तथा पव7 उपिनषद1 म योग क विभHन मिाओ तथा उनक चमकारक भाव1

का वण7न कया गया ह कHत िचकसा क fऽ म योग क योग1 पर सव7 थम यरोपीय दश1

क वािनक1 न अपना iयान दया जब उHह1न दखा क शीषा7सन करन स मःतक क उन

अग1 म रA जाता ह जसम रA वाह ाय कम ह होता ह सभी आसन1 का अiययन करन

क बाद जब 1945 क बाद शोध अiययन1 क आधार पर योग क भाव1 को िसF करन क

कोिशश क गई तो इसक फलःवप `योग िचकसाacute एक अलग ह वlा बन गई वत7मान

समय म सपण7 वm क लोग योगासन1 क ित आकष7त होकर योग1 को अपना रह ह

योगसऽ क योगसऽ क योगसऽ क योगसऽ क 8 8 8 8 भाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत ह

1 यम

2 िनयम

3 आसन

4 ाणायाम

5 याहार

6 धारणा

7 iयान

8 समािध

इन सभी योगसऽ1 म `यमacute योग क पहली तथा `समािधacute सबस अितम अवःथा होती ह

`योग िचकसाacute म िसफ7 आसन1 तथा उसस होन वाल भाव1 क बार म चचा7 क जाती ह

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आमतौर पर यम िनयम आसन और ाणायाम हमार शरर को सभी कार स समF बनान क

िलए बहत ह आवयक मान जात ह ाणायाम क साथ-साथ iयान क भी अलग-अलग भाव

होत ह ाणायाम iयान क योग स अलग-अलग परणाम ाr होत ह योग क अनसार ाण

का वाह नाड़ तऽ क ]ारा हमार शरर क सभी अग1 म होता रहता ह `रोगacute इस बात का

सकत ह क कह ाण क वाह म अवरोध (बाधा) ह नाड़य1 क 7 कHि हाथ1 और पर1 म

होत ह योग क विभHन आसन1 का भाव हमार पर शरर म ाण-वाह को सचाv रखन पर

भी पड़ता ह योग क सभी मिाओ का वाह थक अग1 क भाव स होता ह िनयिमत प स

योगासन करन स शरर क कसी भी अग म ाण का वाह सचाv प स होता रहता ह

योगासन करन वाला LयA अपन पर जीवन म शाररक और मानिसक प स ःवःथ बना

रहता ह

वशष वशष वशष वशष

हम कसी वशष क दखरख म ह योगासन करना चाहए बना वशष1 क दख-रख क

आसन करन स हमार शरर को लाभ क बजाय हािन होन क अिधक सभावना बनी रहती ह

आसन1 का ार=भ यो+य और अनभवी िशfक1 क दख-रख म ह करना चाहए योगासन1 को

करन क सीमाए भी होती ह जHह `यमacute कहत ह जस योगासन करन वाल LयAय1 को कसी

भी परःथित म असय बोलना चोर धोखाधड़ आद नह करना चाहए तथा उHह िनयमपव7क

अपना जीवन Lयतीत करना चाहए योगासन1 को करन क विभHन िनयम होत ह जनस शरर

को योग करन क लायक बनाया जाता ह

``धौती बयाacuteacute म जतना हो सकता ह उतना अिधक पानी पीत ह और फर कसी ऊच ःथान

पर बठकर गल क अदर दो अगिलया डालत ह ऐसा करन स उBट होनी श हो जाती ह

इसस हमार पट क आतरक वकार दर हो जात ह तथा गला भी साफ हो जाता ह

``नती acuteacute म चBल भर पानी हाथ म लकर नाक क एक तरफ क नथन स ऊपर क ओर हBका

सा खीचत ह इसक बाद दसर नथन को बद करक जोर स बाहर क ओर छwकन स नाक साफ

हो जाती ह इसी कार स दसर नथन को भी साफ कया जाता ह खीचन वाल पानी म हBका

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सा नमक िमला लत ह ``धोती`` तथा ``नती`` स पट गल तथा नाक स सबिधत विभHन रोग1 म

लाभ िमलता ह `नतीacute एलजx क िलए बहत ह लाभकार बया होती ह

`ऽाटक` बया म आख1 क विभHन वकार जस भगापन (ितरछा दखाई दना) तथा मःतक

का इधर-उधर भटकना समाr हो जाता ह इस विध म आख1 स लगभग 120 समी क दर पर

एक मोमबzी जलाकर रख दत ह इसक बाद उस जलती हई मोमबzी को लगातार तब तक

दखत ह क जब तक क आख1 म आस न आ जाए ार=भ म एक िमनट तक ऽाटक करन क

बाद एक िमनट तक आख1 को बद करक आराम दत ह इसक बाद जतना समय आग बढ़ात ह

उसी क अनसार उतन ह अिधक समय तक आख1 को आराम भी दया जाता ह ऽाटक क

िसF स स=मोहन क शA भी बढ़ती ह इसक अितरA योगासन1 क अHय तरक जस `नौलीacute

और `कBपावतacuteacute ह यह पट और फफड़1 स सबिधत होत ह

जल िचकसाजल िचकसाजल िचकसाजल िचकसा

जल त)व हमार शरर और जीवन क वाह को सरfत बनाय रखता ह जल क कित

शीतल होती ह हमार शरर म लगभग 70 ितशत पानी होता ह अत शरर क तापमान और

रA सचार म जल महवपण7 भिमका िनभाता ह

वm क सभी िचकसा णािलय1 म ाचीन समय स ह सबह क समय ःनान करन को

महव दया गया ह हमार दश म यक महन पण7मा को नदय1 म ःनान कया जाता ह

यह परान स समय स चली आ रह जल िचकसा का ह प ह आयवgद क अनसार कवल

जल ह एक ऐसा तव ह जो शाररक और मानिसक थकान बहोशी |यास िमटान वाला

आलःय उBट कUज असमय क िनिा को दर करन वाला मन को सHन और शाित दान

करन वाला दय क िलए लाभकार गrरस वाला अजीण7 को न9 करन वाला सदा लाभकार

शीतल तथा अमत क समान होता ह

आयवgद क िसF मथ `चरक सहता` म `अवगाहन रA मोfणाacute क सदभ7 म जल िचकसा

का सfप म वण7न कया ह इसी कार `इHिजािलक कामर~` म वष स पीड़त रोगी क नाक

म पानी मह जल स ऊपर िनकालकर िलटान का परामश7 दया गया ह हमार शरर क िलए

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आवयक जल को माता क दध क समान औषिध रोग1 को न9 करन वाला शरर का आधार

ःवाः-य का रfक दघा7य करन वाला वशानगत रोग1 को न9 करन वाला गr रोग1 को न9

करन वाला तथा शरर को ःवःथ और सदर बनान क िलए बहत लाभकार माना जाता ह यद

हमार शरर क कसी अग अथवा भाग म जल क कमी या अिधकता अथवा असतलन होता ह

तो इसका कारण कोई-कोई अशF भी होती ह इसक िलए जल क आपित7 जल िनकासन

वापन अथवा जल क शF क िलए जल िचकसा म अलग-अलग तरक अपनात ह

जल िचकसा म पानी को विभHन तरक1- ताप तथा यऽ1 क सहायता स उपयोग कया

जाता ह ठडा पानी शरर क छोट रAवाहकाओ को सकिचत कर दता ह इसस वचा थोड़ दर

क िलए ठड और पीली पड़ जाती ह जस ह ठड पानी का योग बद कया जाता ह रA

वाहिनया फलती ह और खाली जगह को भरन क िलए वचा क ओर वाहिनय1 क अदर तजी

स खन दौड़ता ह यह वह असर ह जसक िलए जल िचकसक पानी का योग करत ह

ार=भ म रोगी क शरर पर साद जल का योग कया जाता ह जस-जस रोगी को लाभ ाr

होता जाता ह जल का ताप कम करत जात ह इसस हमार शरर क सहनशA भी बढ़ती ह

जल िचकसा क इस णाली को आयवgद तथा ाकितक िचकसा क साथ ह साथ आधिनक

िचकसा पFित एलोपिथक िचकसा म भी समान महव िमला ह हमार शरर क विभHन

बीमारय1 को न9 करन म जल िचकसा का उपयोग कया जाता ह

`जल िचकसा` म ःनान करन क अनक विधय1 का Lयापक योग कया जाता ह वाप

िचकसा स हमार शरर क चबx तथा विभHन कार क वकार दर हो जात ह आधिनक

ऐलोपिथक िचकसक भी शरर क जल हए अग1 पर बफ7 का पानी लगान क सलाह दत ह

वत7मान समय म गठया दय रोग 1काइटस दमागी सजन बखार तथा शरर म खन क कमी

म पहल गम7 पानी स कटःनान तथा बाद म ठड पानी स कट ःनान को वशष महव दया

जा रहा ह

जल िचकसा क अHतग7त विभHन बयाए जस िनयिमत प स अिधक स अिधक माऽा म

पानी पीना जल म विभHन कार क फल1 क रस को िमलाकर पीना टब म भर हए ठड पानी

स अिधक समय तक ःनान करना हमार शरर क रोग1 स भावत अग1 पर गीली तथा सखी

पटय1 का योग करना भाप ]ारा इलाज करना ठड पानी गम7 पानी तथा सय7 म तपाय गय

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

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हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 2: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया ाकितक िचकसा म समाहत कछ अHय िचकसा पFितया

ाचीन काल स ह हम यह ात हो चका ह क रोग1 का इलाज हमार चार1 ओर उपःथित

ाकितक तव1 क सहायता स कया जा सकता ह इHह तव1 क कारण ह हमारा जीवन

चलता रहता ह यद कसी कारणवश यह असतिलत हो जाता ह तो हमारा ःवाः-य खराब हो

जाता ह एक ऐसी ाचीन िचकसा णाली जो बना दवाओ क ह Lयायाम वौाम ःवNछता

उपवास आहार पानी हवा काश िमट आद क सतिलत उपयोग स ह शरर को रोग1 स मA

कर दती ह तथा LयA को ःवःथ और दघ7 जीवन का राःता दखाती ह वह ``ाकितक

िचकसा`` पFित कहलाती ह ाकितक िचकसा क अHतग7त िचकसा पFितया ह-

1 योग िचकसा

2 जल िचकसा

3 सय7 िचकसा

4 फल-सUजी िचकसा

योग िचकसायोग िचकसायोग िचकसायोग िचकसा

हमारा दश योिगय1 का दश कहा जाता ह आज भी ससार म भारतीय योग का अपना वशष

महव ह पWमी दश1 म माना जाता ह क भारतीय पवऽ मथ `रामायणacute म वण7त पपक

वमान का वण7न कवल कBपना माऽ नह ह रावण क नािभ म अमत होन क कारण वह अमर

हो गया था इसक बार म यरोपीय दश1 क वािनक1 को भी सNचाई नज़र आती ह महभारत

क यF म यA अ1 म परमाण सपHन अ भी थ अब यह िसF हो चका ह क महाभारत

क यF क बाद ौीकण भगवान ]ारा अज7न क रथ स उतरत ह रथ का जल जाना योिगराज

भगवान कण क कारण ह था योिगराज भगवान कण न योग क बल पर ह गोवध7न पव7त

को एक ह हाथ क अगली पर उठा िलया था इसी बल क कारण ह हनमान जी हमालय स

गधमादन पव7त को उठाकर लाय थ भगवान ौीकण का चब सदश7न इNछा क गित पर

चलता था आदकव शकराचाय7 न योग क बल स ह अपना शरर यागकर दसर दह को

धारण करक `कामशा` को सीखा और इसक बाद पन अपन शरर म आ गय यह सब योग

क कारण ह स=भव हआ था

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जापानी डाbटर1 न योग1 ]ारा यह िसF कया ह क योग शा म बताए गय शरर क

भीतर मौजद छह1 चब1 म अनHत ऊजा7 भर हई ह इन चब1 को जागत तथा िनयऽत करन स

चमकारक शAया उपHन होती ह पताजिल ऋष न योग को शरर म िछपी हई fमताओ क

उपयोग का साधन माना ह

ऋ+वद अथवgद तथा पव7 उपिनषद1 म योग क विभHन मिाओ तथा उनक चमकारक भाव1

का वण7न कया गया ह कHत िचकसा क fऽ म योग क योग1 पर सव7 थम यरोपीय दश1

क वािनक1 न अपना iयान दया जब उHह1न दखा क शीषा7सन करन स मःतक क उन

अग1 म रA जाता ह जसम रA वाह ाय कम ह होता ह सभी आसन1 का अiययन करन

क बाद जब 1945 क बाद शोध अiययन1 क आधार पर योग क भाव1 को िसF करन क

कोिशश क गई तो इसक फलःवप `योग िचकसाacute एक अलग ह वlा बन गई वत7मान

समय म सपण7 वm क लोग योगासन1 क ित आकष7त होकर योग1 को अपना रह ह

योगसऽ क योगसऽ क योगसऽ क योगसऽ क 8 8 8 8 भाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत ह

1 यम

2 िनयम

3 आसन

4 ाणायाम

5 याहार

6 धारणा

7 iयान

8 समािध

इन सभी योगसऽ1 म `यमacute योग क पहली तथा `समािधacute सबस अितम अवःथा होती ह

`योग िचकसाacute म िसफ7 आसन1 तथा उसस होन वाल भाव1 क बार म चचा7 क जाती ह

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आमतौर पर यम िनयम आसन और ाणायाम हमार शरर को सभी कार स समF बनान क

िलए बहत ह आवयक मान जात ह ाणायाम क साथ-साथ iयान क भी अलग-अलग भाव

होत ह ाणायाम iयान क योग स अलग-अलग परणाम ाr होत ह योग क अनसार ाण

का वाह नाड़ तऽ क ]ारा हमार शरर क सभी अग1 म होता रहता ह `रोगacute इस बात का

सकत ह क कह ाण क वाह म अवरोध (बाधा) ह नाड़य1 क 7 कHि हाथ1 और पर1 म

होत ह योग क विभHन आसन1 का भाव हमार पर शरर म ाण-वाह को सचाv रखन पर

भी पड़ता ह योग क सभी मिाओ का वाह थक अग1 क भाव स होता ह िनयिमत प स

योगासन करन स शरर क कसी भी अग म ाण का वाह सचाv प स होता रहता ह

योगासन करन वाला LयA अपन पर जीवन म शाररक और मानिसक प स ःवःथ बना

रहता ह

वशष वशष वशष वशष

हम कसी वशष क दखरख म ह योगासन करना चाहए बना वशष1 क दख-रख क

आसन करन स हमार शरर को लाभ क बजाय हािन होन क अिधक सभावना बनी रहती ह

आसन1 का ार=भ यो+य और अनभवी िशfक1 क दख-रख म ह करना चाहए योगासन1 को

करन क सीमाए भी होती ह जHह `यमacute कहत ह जस योगासन करन वाल LयAय1 को कसी

भी परःथित म असय बोलना चोर धोखाधड़ आद नह करना चाहए तथा उHह िनयमपव7क

अपना जीवन Lयतीत करना चाहए योगासन1 को करन क विभHन िनयम होत ह जनस शरर

को योग करन क लायक बनाया जाता ह

``धौती बयाacuteacute म जतना हो सकता ह उतना अिधक पानी पीत ह और फर कसी ऊच ःथान

पर बठकर गल क अदर दो अगिलया डालत ह ऐसा करन स उBट होनी श हो जाती ह

इसस हमार पट क आतरक वकार दर हो जात ह तथा गला भी साफ हो जाता ह

``नती acuteacute म चBल भर पानी हाथ म लकर नाक क एक तरफ क नथन स ऊपर क ओर हBका

सा खीचत ह इसक बाद दसर नथन को बद करक जोर स बाहर क ओर छwकन स नाक साफ

हो जाती ह इसी कार स दसर नथन को भी साफ कया जाता ह खीचन वाल पानी म हBका

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सा नमक िमला लत ह ``धोती`` तथा ``नती`` स पट गल तथा नाक स सबिधत विभHन रोग1 म

लाभ िमलता ह `नतीacute एलजx क िलए बहत ह लाभकार बया होती ह

`ऽाटक` बया म आख1 क विभHन वकार जस भगापन (ितरछा दखाई दना) तथा मःतक

का इधर-उधर भटकना समाr हो जाता ह इस विध म आख1 स लगभग 120 समी क दर पर

एक मोमबzी जलाकर रख दत ह इसक बाद उस जलती हई मोमबzी को लगातार तब तक

दखत ह क जब तक क आख1 म आस न आ जाए ार=भ म एक िमनट तक ऽाटक करन क

बाद एक िमनट तक आख1 को बद करक आराम दत ह इसक बाद जतना समय आग बढ़ात ह

उसी क अनसार उतन ह अिधक समय तक आख1 को आराम भी दया जाता ह ऽाटक क

िसF स स=मोहन क शA भी बढ़ती ह इसक अितरA योगासन1 क अHय तरक जस `नौलीacute

और `कBपावतacuteacute ह यह पट और फफड़1 स सबिधत होत ह

जल िचकसाजल िचकसाजल िचकसाजल िचकसा

जल त)व हमार शरर और जीवन क वाह को सरfत बनाय रखता ह जल क कित

शीतल होती ह हमार शरर म लगभग 70 ितशत पानी होता ह अत शरर क तापमान और

रA सचार म जल महवपण7 भिमका िनभाता ह

वm क सभी िचकसा णािलय1 म ाचीन समय स ह सबह क समय ःनान करन को

महव दया गया ह हमार दश म यक महन पण7मा को नदय1 म ःनान कया जाता ह

यह परान स समय स चली आ रह जल िचकसा का ह प ह आयवgद क अनसार कवल

जल ह एक ऐसा तव ह जो शाररक और मानिसक थकान बहोशी |यास िमटान वाला

आलःय उBट कUज असमय क िनिा को दर करन वाला मन को सHन और शाित दान

करन वाला दय क िलए लाभकार गrरस वाला अजीण7 को न9 करन वाला सदा लाभकार

शीतल तथा अमत क समान होता ह

आयवgद क िसF मथ `चरक सहता` म `अवगाहन रA मोfणाacute क सदभ7 म जल िचकसा

का सfप म वण7न कया ह इसी कार `इHिजािलक कामर~` म वष स पीड़त रोगी क नाक

म पानी मह जल स ऊपर िनकालकर िलटान का परामश7 दया गया ह हमार शरर क िलए

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आवयक जल को माता क दध क समान औषिध रोग1 को न9 करन वाला शरर का आधार

ःवाः-य का रfक दघा7य करन वाला वशानगत रोग1 को न9 करन वाला गr रोग1 को न9

करन वाला तथा शरर को ःवःथ और सदर बनान क िलए बहत लाभकार माना जाता ह यद

हमार शरर क कसी अग अथवा भाग म जल क कमी या अिधकता अथवा असतलन होता ह

तो इसका कारण कोई-कोई अशF भी होती ह इसक िलए जल क आपित7 जल िनकासन

वापन अथवा जल क शF क िलए जल िचकसा म अलग-अलग तरक अपनात ह

जल िचकसा म पानी को विभHन तरक1- ताप तथा यऽ1 क सहायता स उपयोग कया

जाता ह ठडा पानी शरर क छोट रAवाहकाओ को सकिचत कर दता ह इसस वचा थोड़ दर

क िलए ठड और पीली पड़ जाती ह जस ह ठड पानी का योग बद कया जाता ह रA

वाहिनया फलती ह और खाली जगह को भरन क िलए वचा क ओर वाहिनय1 क अदर तजी

स खन दौड़ता ह यह वह असर ह जसक िलए जल िचकसक पानी का योग करत ह

ार=भ म रोगी क शरर पर साद जल का योग कया जाता ह जस-जस रोगी को लाभ ाr

होता जाता ह जल का ताप कम करत जात ह इसस हमार शरर क सहनशA भी बढ़ती ह

जल िचकसा क इस णाली को आयवgद तथा ाकितक िचकसा क साथ ह साथ आधिनक

िचकसा पFित एलोपिथक िचकसा म भी समान महव िमला ह हमार शरर क विभHन

बीमारय1 को न9 करन म जल िचकसा का उपयोग कया जाता ह

`जल िचकसा` म ःनान करन क अनक विधय1 का Lयापक योग कया जाता ह वाप

िचकसा स हमार शरर क चबx तथा विभHन कार क वकार दर हो जात ह आधिनक

ऐलोपिथक िचकसक भी शरर क जल हए अग1 पर बफ7 का पानी लगान क सलाह दत ह

वत7मान समय म गठया दय रोग 1काइटस दमागी सजन बखार तथा शरर म खन क कमी

म पहल गम7 पानी स कटःनान तथा बाद म ठड पानी स कट ःनान को वशष महव दया

जा रहा ह

जल िचकसा क अHतग7त विभHन बयाए जस िनयिमत प स अिधक स अिधक माऽा म

पानी पीना जल म विभHन कार क फल1 क रस को िमलाकर पीना टब म भर हए ठड पानी

स अिधक समय तक ःनान करना हमार शरर क रोग1 स भावत अग1 पर गीली तथा सखी

पटय1 का योग करना भाप ]ारा इलाज करना ठड पानी गम7 पानी तथा सय7 म तपाय गय

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 3: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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जापानी डाbटर1 न योग1 ]ारा यह िसF कया ह क योग शा म बताए गय शरर क

भीतर मौजद छह1 चब1 म अनHत ऊजा7 भर हई ह इन चब1 को जागत तथा िनयऽत करन स

चमकारक शAया उपHन होती ह पताजिल ऋष न योग को शरर म िछपी हई fमताओ क

उपयोग का साधन माना ह

ऋ+वद अथवgद तथा पव7 उपिनषद1 म योग क विभHन मिाओ तथा उनक चमकारक भाव1

का वण7न कया गया ह कHत िचकसा क fऽ म योग क योग1 पर सव7 थम यरोपीय दश1

क वािनक1 न अपना iयान दया जब उHह1न दखा क शीषा7सन करन स मःतक क उन

अग1 म रA जाता ह जसम रA वाह ाय कम ह होता ह सभी आसन1 का अiययन करन

क बाद जब 1945 क बाद शोध अiययन1 क आधार पर योग क भाव1 को िसF करन क

कोिशश क गई तो इसक फलःवप `योग िचकसाacute एक अलग ह वlा बन गई वत7मान

समय म सपण7 वm क लोग योगासन1 क ित आकष7त होकर योग1 को अपना रह ह

योगसऽ क योगसऽ क योगसऽ क योगसऽ क 8 8 8 8 भाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत हभाग होत ह जो िन=न कार क होत ह

1 यम

2 िनयम

3 आसन

4 ाणायाम

5 याहार

6 धारणा

7 iयान

8 समािध

इन सभी योगसऽ1 म `यमacute योग क पहली तथा `समािधacute सबस अितम अवःथा होती ह

`योग िचकसाacute म िसफ7 आसन1 तथा उसस होन वाल भाव1 क बार म चचा7 क जाती ह

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आमतौर पर यम िनयम आसन और ाणायाम हमार शरर को सभी कार स समF बनान क

िलए बहत ह आवयक मान जात ह ाणायाम क साथ-साथ iयान क भी अलग-अलग भाव

होत ह ाणायाम iयान क योग स अलग-अलग परणाम ाr होत ह योग क अनसार ाण

का वाह नाड़ तऽ क ]ारा हमार शरर क सभी अग1 म होता रहता ह `रोगacute इस बात का

सकत ह क कह ाण क वाह म अवरोध (बाधा) ह नाड़य1 क 7 कHि हाथ1 और पर1 म

होत ह योग क विभHन आसन1 का भाव हमार पर शरर म ाण-वाह को सचाv रखन पर

भी पड़ता ह योग क सभी मिाओ का वाह थक अग1 क भाव स होता ह िनयिमत प स

योगासन करन स शरर क कसी भी अग म ाण का वाह सचाv प स होता रहता ह

योगासन करन वाला LयA अपन पर जीवन म शाररक और मानिसक प स ःवःथ बना

रहता ह

वशष वशष वशष वशष

हम कसी वशष क दखरख म ह योगासन करना चाहए बना वशष1 क दख-रख क

आसन करन स हमार शरर को लाभ क बजाय हािन होन क अिधक सभावना बनी रहती ह

आसन1 का ार=भ यो+य और अनभवी िशfक1 क दख-रख म ह करना चाहए योगासन1 को

करन क सीमाए भी होती ह जHह `यमacute कहत ह जस योगासन करन वाल LयAय1 को कसी

भी परःथित म असय बोलना चोर धोखाधड़ आद नह करना चाहए तथा उHह िनयमपव7क

अपना जीवन Lयतीत करना चाहए योगासन1 को करन क विभHन िनयम होत ह जनस शरर

को योग करन क लायक बनाया जाता ह

``धौती बयाacuteacute म जतना हो सकता ह उतना अिधक पानी पीत ह और फर कसी ऊच ःथान

पर बठकर गल क अदर दो अगिलया डालत ह ऐसा करन स उBट होनी श हो जाती ह

इसस हमार पट क आतरक वकार दर हो जात ह तथा गला भी साफ हो जाता ह

``नती acuteacute म चBल भर पानी हाथ म लकर नाक क एक तरफ क नथन स ऊपर क ओर हBका

सा खीचत ह इसक बाद दसर नथन को बद करक जोर स बाहर क ओर छwकन स नाक साफ

हो जाती ह इसी कार स दसर नथन को भी साफ कया जाता ह खीचन वाल पानी म हBका

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सा नमक िमला लत ह ``धोती`` तथा ``नती`` स पट गल तथा नाक स सबिधत विभHन रोग1 म

लाभ िमलता ह `नतीacute एलजx क िलए बहत ह लाभकार बया होती ह

`ऽाटक` बया म आख1 क विभHन वकार जस भगापन (ितरछा दखाई दना) तथा मःतक

का इधर-उधर भटकना समाr हो जाता ह इस विध म आख1 स लगभग 120 समी क दर पर

एक मोमबzी जलाकर रख दत ह इसक बाद उस जलती हई मोमबzी को लगातार तब तक

दखत ह क जब तक क आख1 म आस न आ जाए ार=भ म एक िमनट तक ऽाटक करन क

बाद एक िमनट तक आख1 को बद करक आराम दत ह इसक बाद जतना समय आग बढ़ात ह

उसी क अनसार उतन ह अिधक समय तक आख1 को आराम भी दया जाता ह ऽाटक क

िसF स स=मोहन क शA भी बढ़ती ह इसक अितरA योगासन1 क अHय तरक जस `नौलीacute

और `कBपावतacuteacute ह यह पट और फफड़1 स सबिधत होत ह

जल िचकसाजल िचकसाजल िचकसाजल िचकसा

जल त)व हमार शरर और जीवन क वाह को सरfत बनाय रखता ह जल क कित

शीतल होती ह हमार शरर म लगभग 70 ितशत पानी होता ह अत शरर क तापमान और

रA सचार म जल महवपण7 भिमका िनभाता ह

वm क सभी िचकसा णािलय1 म ाचीन समय स ह सबह क समय ःनान करन को

महव दया गया ह हमार दश म यक महन पण7मा को नदय1 म ःनान कया जाता ह

यह परान स समय स चली आ रह जल िचकसा का ह प ह आयवgद क अनसार कवल

जल ह एक ऐसा तव ह जो शाररक और मानिसक थकान बहोशी |यास िमटान वाला

आलःय उBट कUज असमय क िनिा को दर करन वाला मन को सHन और शाित दान

करन वाला दय क िलए लाभकार गrरस वाला अजीण7 को न9 करन वाला सदा लाभकार

शीतल तथा अमत क समान होता ह

आयवgद क िसF मथ `चरक सहता` म `अवगाहन रA मोfणाacute क सदभ7 म जल िचकसा

का सfप म वण7न कया ह इसी कार `इHिजािलक कामर~` म वष स पीड़त रोगी क नाक

म पानी मह जल स ऊपर िनकालकर िलटान का परामश7 दया गया ह हमार शरर क िलए

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आवयक जल को माता क दध क समान औषिध रोग1 को न9 करन वाला शरर का आधार

ःवाः-य का रfक दघा7य करन वाला वशानगत रोग1 को न9 करन वाला गr रोग1 को न9

करन वाला तथा शरर को ःवःथ और सदर बनान क िलए बहत लाभकार माना जाता ह यद

हमार शरर क कसी अग अथवा भाग म जल क कमी या अिधकता अथवा असतलन होता ह

तो इसका कारण कोई-कोई अशF भी होती ह इसक िलए जल क आपित7 जल िनकासन

वापन अथवा जल क शF क िलए जल िचकसा म अलग-अलग तरक अपनात ह

जल िचकसा म पानी को विभHन तरक1- ताप तथा यऽ1 क सहायता स उपयोग कया

जाता ह ठडा पानी शरर क छोट रAवाहकाओ को सकिचत कर दता ह इसस वचा थोड़ दर

क िलए ठड और पीली पड़ जाती ह जस ह ठड पानी का योग बद कया जाता ह रA

वाहिनया फलती ह और खाली जगह को भरन क िलए वचा क ओर वाहिनय1 क अदर तजी

स खन दौड़ता ह यह वह असर ह जसक िलए जल िचकसक पानी का योग करत ह

ार=भ म रोगी क शरर पर साद जल का योग कया जाता ह जस-जस रोगी को लाभ ाr

होता जाता ह जल का ताप कम करत जात ह इसस हमार शरर क सहनशA भी बढ़ती ह

जल िचकसा क इस णाली को आयवgद तथा ाकितक िचकसा क साथ ह साथ आधिनक

िचकसा पFित एलोपिथक िचकसा म भी समान महव िमला ह हमार शरर क विभHन

बीमारय1 को न9 करन म जल िचकसा का उपयोग कया जाता ह

`जल िचकसा` म ःनान करन क अनक विधय1 का Lयापक योग कया जाता ह वाप

िचकसा स हमार शरर क चबx तथा विभHन कार क वकार दर हो जात ह आधिनक

ऐलोपिथक िचकसक भी शरर क जल हए अग1 पर बफ7 का पानी लगान क सलाह दत ह

वत7मान समय म गठया दय रोग 1काइटस दमागी सजन बखार तथा शरर म खन क कमी

म पहल गम7 पानी स कटःनान तथा बाद म ठड पानी स कट ःनान को वशष महव दया

जा रहा ह

जल िचकसा क अHतग7त विभHन बयाए जस िनयिमत प स अिधक स अिधक माऽा म

पानी पीना जल म विभHन कार क फल1 क रस को िमलाकर पीना टब म भर हए ठड पानी

स अिधक समय तक ःनान करना हमार शरर क रोग1 स भावत अग1 पर गीली तथा सखी

पटय1 का योग करना भाप ]ारा इलाज करना ठड पानी गम7 पानी तथा सय7 म तपाय गय

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 4: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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आमतौर पर यम िनयम आसन और ाणायाम हमार शरर को सभी कार स समF बनान क

िलए बहत ह आवयक मान जात ह ाणायाम क साथ-साथ iयान क भी अलग-अलग भाव

होत ह ाणायाम iयान क योग स अलग-अलग परणाम ाr होत ह योग क अनसार ाण

का वाह नाड़ तऽ क ]ारा हमार शरर क सभी अग1 म होता रहता ह `रोगacute इस बात का

सकत ह क कह ाण क वाह म अवरोध (बाधा) ह नाड़य1 क 7 कHि हाथ1 और पर1 म

होत ह योग क विभHन आसन1 का भाव हमार पर शरर म ाण-वाह को सचाv रखन पर

भी पड़ता ह योग क सभी मिाओ का वाह थक अग1 क भाव स होता ह िनयिमत प स

योगासन करन स शरर क कसी भी अग म ाण का वाह सचाv प स होता रहता ह

योगासन करन वाला LयA अपन पर जीवन म शाररक और मानिसक प स ःवःथ बना

रहता ह

वशष वशष वशष वशष

हम कसी वशष क दखरख म ह योगासन करना चाहए बना वशष1 क दख-रख क

आसन करन स हमार शरर को लाभ क बजाय हािन होन क अिधक सभावना बनी रहती ह

आसन1 का ार=भ यो+य और अनभवी िशfक1 क दख-रख म ह करना चाहए योगासन1 को

करन क सीमाए भी होती ह जHह `यमacute कहत ह जस योगासन करन वाल LयAय1 को कसी

भी परःथित म असय बोलना चोर धोखाधड़ आद नह करना चाहए तथा उHह िनयमपव7क

अपना जीवन Lयतीत करना चाहए योगासन1 को करन क विभHन िनयम होत ह जनस शरर

को योग करन क लायक बनाया जाता ह

``धौती बयाacuteacute म जतना हो सकता ह उतना अिधक पानी पीत ह और फर कसी ऊच ःथान

पर बठकर गल क अदर दो अगिलया डालत ह ऐसा करन स उBट होनी श हो जाती ह

इसस हमार पट क आतरक वकार दर हो जात ह तथा गला भी साफ हो जाता ह

``नती acuteacute म चBल भर पानी हाथ म लकर नाक क एक तरफ क नथन स ऊपर क ओर हBका

सा खीचत ह इसक बाद दसर नथन को बद करक जोर स बाहर क ओर छwकन स नाक साफ

हो जाती ह इसी कार स दसर नथन को भी साफ कया जाता ह खीचन वाल पानी म हBका

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सा नमक िमला लत ह ``धोती`` तथा ``नती`` स पट गल तथा नाक स सबिधत विभHन रोग1 म

लाभ िमलता ह `नतीacute एलजx क िलए बहत ह लाभकार बया होती ह

`ऽाटक` बया म आख1 क विभHन वकार जस भगापन (ितरछा दखाई दना) तथा मःतक

का इधर-उधर भटकना समाr हो जाता ह इस विध म आख1 स लगभग 120 समी क दर पर

एक मोमबzी जलाकर रख दत ह इसक बाद उस जलती हई मोमबzी को लगातार तब तक

दखत ह क जब तक क आख1 म आस न आ जाए ार=भ म एक िमनट तक ऽाटक करन क

बाद एक िमनट तक आख1 को बद करक आराम दत ह इसक बाद जतना समय आग बढ़ात ह

उसी क अनसार उतन ह अिधक समय तक आख1 को आराम भी दया जाता ह ऽाटक क

िसF स स=मोहन क शA भी बढ़ती ह इसक अितरA योगासन1 क अHय तरक जस `नौलीacute

और `कBपावतacuteacute ह यह पट और फफड़1 स सबिधत होत ह

जल िचकसाजल िचकसाजल िचकसाजल िचकसा

जल त)व हमार शरर और जीवन क वाह को सरfत बनाय रखता ह जल क कित

शीतल होती ह हमार शरर म लगभग 70 ितशत पानी होता ह अत शरर क तापमान और

रA सचार म जल महवपण7 भिमका िनभाता ह

वm क सभी िचकसा णािलय1 म ाचीन समय स ह सबह क समय ःनान करन को

महव दया गया ह हमार दश म यक महन पण7मा को नदय1 म ःनान कया जाता ह

यह परान स समय स चली आ रह जल िचकसा का ह प ह आयवgद क अनसार कवल

जल ह एक ऐसा तव ह जो शाररक और मानिसक थकान बहोशी |यास िमटान वाला

आलःय उBट कUज असमय क िनिा को दर करन वाला मन को सHन और शाित दान

करन वाला दय क िलए लाभकार गrरस वाला अजीण7 को न9 करन वाला सदा लाभकार

शीतल तथा अमत क समान होता ह

आयवgद क िसF मथ `चरक सहता` म `अवगाहन रA मोfणाacute क सदभ7 म जल िचकसा

का सfप म वण7न कया ह इसी कार `इHिजािलक कामर~` म वष स पीड़त रोगी क नाक

म पानी मह जल स ऊपर िनकालकर िलटान का परामश7 दया गया ह हमार शरर क िलए

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आवयक जल को माता क दध क समान औषिध रोग1 को न9 करन वाला शरर का आधार

ःवाः-य का रfक दघा7य करन वाला वशानगत रोग1 को न9 करन वाला गr रोग1 को न9

करन वाला तथा शरर को ःवःथ और सदर बनान क िलए बहत लाभकार माना जाता ह यद

हमार शरर क कसी अग अथवा भाग म जल क कमी या अिधकता अथवा असतलन होता ह

तो इसका कारण कोई-कोई अशF भी होती ह इसक िलए जल क आपित7 जल िनकासन

वापन अथवा जल क शF क िलए जल िचकसा म अलग-अलग तरक अपनात ह

जल िचकसा म पानी को विभHन तरक1- ताप तथा यऽ1 क सहायता स उपयोग कया

जाता ह ठडा पानी शरर क छोट रAवाहकाओ को सकिचत कर दता ह इसस वचा थोड़ दर

क िलए ठड और पीली पड़ जाती ह जस ह ठड पानी का योग बद कया जाता ह रA

वाहिनया फलती ह और खाली जगह को भरन क िलए वचा क ओर वाहिनय1 क अदर तजी

स खन दौड़ता ह यह वह असर ह जसक िलए जल िचकसक पानी का योग करत ह

ार=भ म रोगी क शरर पर साद जल का योग कया जाता ह जस-जस रोगी को लाभ ाr

होता जाता ह जल का ताप कम करत जात ह इसस हमार शरर क सहनशA भी बढ़ती ह

जल िचकसा क इस णाली को आयवgद तथा ाकितक िचकसा क साथ ह साथ आधिनक

िचकसा पFित एलोपिथक िचकसा म भी समान महव िमला ह हमार शरर क विभHन

बीमारय1 को न9 करन म जल िचकसा का उपयोग कया जाता ह

`जल िचकसा` म ःनान करन क अनक विधय1 का Lयापक योग कया जाता ह वाप

िचकसा स हमार शरर क चबx तथा विभHन कार क वकार दर हो जात ह आधिनक

ऐलोपिथक िचकसक भी शरर क जल हए अग1 पर बफ7 का पानी लगान क सलाह दत ह

वत7मान समय म गठया दय रोग 1काइटस दमागी सजन बखार तथा शरर म खन क कमी

म पहल गम7 पानी स कटःनान तथा बाद म ठड पानी स कट ःनान को वशष महव दया

जा रहा ह

जल िचकसा क अHतग7त विभHन बयाए जस िनयिमत प स अिधक स अिधक माऽा म

पानी पीना जल म विभHन कार क फल1 क रस को िमलाकर पीना टब म भर हए ठड पानी

स अिधक समय तक ःनान करना हमार शरर क रोग1 स भावत अग1 पर गीली तथा सखी

पटय1 का योग करना भाप ]ारा इलाज करना ठड पानी गम7 पानी तथा सय7 म तपाय गय

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 5: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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सा नमक िमला लत ह ``धोती`` तथा ``नती`` स पट गल तथा नाक स सबिधत विभHन रोग1 म

लाभ िमलता ह `नतीacute एलजx क िलए बहत ह लाभकार बया होती ह

`ऽाटक` बया म आख1 क विभHन वकार जस भगापन (ितरछा दखाई दना) तथा मःतक

का इधर-उधर भटकना समाr हो जाता ह इस विध म आख1 स लगभग 120 समी क दर पर

एक मोमबzी जलाकर रख दत ह इसक बाद उस जलती हई मोमबzी को लगातार तब तक

दखत ह क जब तक क आख1 म आस न आ जाए ार=भ म एक िमनट तक ऽाटक करन क

बाद एक िमनट तक आख1 को बद करक आराम दत ह इसक बाद जतना समय आग बढ़ात ह

उसी क अनसार उतन ह अिधक समय तक आख1 को आराम भी दया जाता ह ऽाटक क

िसF स स=मोहन क शA भी बढ़ती ह इसक अितरA योगासन1 क अHय तरक जस `नौलीacute

और `कBपावतacuteacute ह यह पट और फफड़1 स सबिधत होत ह

जल िचकसाजल िचकसाजल िचकसाजल िचकसा

जल त)व हमार शरर और जीवन क वाह को सरfत बनाय रखता ह जल क कित

शीतल होती ह हमार शरर म लगभग 70 ितशत पानी होता ह अत शरर क तापमान और

रA सचार म जल महवपण7 भिमका िनभाता ह

वm क सभी िचकसा णािलय1 म ाचीन समय स ह सबह क समय ःनान करन को

महव दया गया ह हमार दश म यक महन पण7मा को नदय1 म ःनान कया जाता ह

यह परान स समय स चली आ रह जल िचकसा का ह प ह आयवgद क अनसार कवल

जल ह एक ऐसा तव ह जो शाररक और मानिसक थकान बहोशी |यास िमटान वाला

आलःय उBट कUज असमय क िनिा को दर करन वाला मन को सHन और शाित दान

करन वाला दय क िलए लाभकार गrरस वाला अजीण7 को न9 करन वाला सदा लाभकार

शीतल तथा अमत क समान होता ह

आयवgद क िसF मथ `चरक सहता` म `अवगाहन रA मोfणाacute क सदभ7 म जल िचकसा

का सfप म वण7न कया ह इसी कार `इHिजािलक कामर~` म वष स पीड़त रोगी क नाक

म पानी मह जल स ऊपर िनकालकर िलटान का परामश7 दया गया ह हमार शरर क िलए

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आवयक जल को माता क दध क समान औषिध रोग1 को न9 करन वाला शरर का आधार

ःवाः-य का रfक दघा7य करन वाला वशानगत रोग1 को न9 करन वाला गr रोग1 को न9

करन वाला तथा शरर को ःवःथ और सदर बनान क िलए बहत लाभकार माना जाता ह यद

हमार शरर क कसी अग अथवा भाग म जल क कमी या अिधकता अथवा असतलन होता ह

तो इसका कारण कोई-कोई अशF भी होती ह इसक िलए जल क आपित7 जल िनकासन

वापन अथवा जल क शF क िलए जल िचकसा म अलग-अलग तरक अपनात ह

जल िचकसा म पानी को विभHन तरक1- ताप तथा यऽ1 क सहायता स उपयोग कया

जाता ह ठडा पानी शरर क छोट रAवाहकाओ को सकिचत कर दता ह इसस वचा थोड़ दर

क िलए ठड और पीली पड़ जाती ह जस ह ठड पानी का योग बद कया जाता ह रA

वाहिनया फलती ह और खाली जगह को भरन क िलए वचा क ओर वाहिनय1 क अदर तजी

स खन दौड़ता ह यह वह असर ह जसक िलए जल िचकसक पानी का योग करत ह

ार=भ म रोगी क शरर पर साद जल का योग कया जाता ह जस-जस रोगी को लाभ ाr

होता जाता ह जल का ताप कम करत जात ह इसस हमार शरर क सहनशA भी बढ़ती ह

जल िचकसा क इस णाली को आयवgद तथा ाकितक िचकसा क साथ ह साथ आधिनक

िचकसा पFित एलोपिथक िचकसा म भी समान महव िमला ह हमार शरर क विभHन

बीमारय1 को न9 करन म जल िचकसा का उपयोग कया जाता ह

`जल िचकसा` म ःनान करन क अनक विधय1 का Lयापक योग कया जाता ह वाप

िचकसा स हमार शरर क चबx तथा विभHन कार क वकार दर हो जात ह आधिनक

ऐलोपिथक िचकसक भी शरर क जल हए अग1 पर बफ7 का पानी लगान क सलाह दत ह

वत7मान समय म गठया दय रोग 1काइटस दमागी सजन बखार तथा शरर म खन क कमी

म पहल गम7 पानी स कटःनान तथा बाद म ठड पानी स कट ःनान को वशष महव दया

जा रहा ह

जल िचकसा क अHतग7त विभHन बयाए जस िनयिमत प स अिधक स अिधक माऽा म

पानी पीना जल म विभHन कार क फल1 क रस को िमलाकर पीना टब म भर हए ठड पानी

स अिधक समय तक ःनान करना हमार शरर क रोग1 स भावत अग1 पर गीली तथा सखी

पटय1 का योग करना भाप ]ारा इलाज करना ठड पानी गम7 पानी तथा सय7 म तपाय गय

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

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हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 6: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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आवयक जल को माता क दध क समान औषिध रोग1 को न9 करन वाला शरर का आधार

ःवाः-य का रfक दघा7य करन वाला वशानगत रोग1 को न9 करन वाला गr रोग1 को न9

करन वाला तथा शरर को ःवःथ और सदर बनान क िलए बहत लाभकार माना जाता ह यद

हमार शरर क कसी अग अथवा भाग म जल क कमी या अिधकता अथवा असतलन होता ह

तो इसका कारण कोई-कोई अशF भी होती ह इसक िलए जल क आपित7 जल िनकासन

वापन अथवा जल क शF क िलए जल िचकसा म अलग-अलग तरक अपनात ह

जल िचकसा म पानी को विभHन तरक1- ताप तथा यऽ1 क सहायता स उपयोग कया

जाता ह ठडा पानी शरर क छोट रAवाहकाओ को सकिचत कर दता ह इसस वचा थोड़ दर

क िलए ठड और पीली पड़ जाती ह जस ह ठड पानी का योग बद कया जाता ह रA

वाहिनया फलती ह और खाली जगह को भरन क िलए वचा क ओर वाहिनय1 क अदर तजी

स खन दौड़ता ह यह वह असर ह जसक िलए जल िचकसक पानी का योग करत ह

ार=भ म रोगी क शरर पर साद जल का योग कया जाता ह जस-जस रोगी को लाभ ाr

होता जाता ह जल का ताप कम करत जात ह इसस हमार शरर क सहनशA भी बढ़ती ह

जल िचकसा क इस णाली को आयवgद तथा ाकितक िचकसा क साथ ह साथ आधिनक

िचकसा पFित एलोपिथक िचकसा म भी समान महव िमला ह हमार शरर क विभHन

बीमारय1 को न9 करन म जल िचकसा का उपयोग कया जाता ह

`जल िचकसा` म ःनान करन क अनक विधय1 का Lयापक योग कया जाता ह वाप

िचकसा स हमार शरर क चबx तथा विभHन कार क वकार दर हो जात ह आधिनक

ऐलोपिथक िचकसक भी शरर क जल हए अग1 पर बफ7 का पानी लगान क सलाह दत ह

वत7मान समय म गठया दय रोग 1काइटस दमागी सजन बखार तथा शरर म खन क कमी

म पहल गम7 पानी स कटःनान तथा बाद म ठड पानी स कट ःनान को वशष महव दया

जा रहा ह

जल िचकसा क अHतग7त विभHन बयाए जस िनयिमत प स अिधक स अिधक माऽा म

पानी पीना जल म विभHन कार क फल1 क रस को िमलाकर पीना टब म भर हए ठड पानी

स अिधक समय तक ःनान करना हमार शरर क रोग1 स भावत अग1 पर गीली तथा सखी

पटय1 का योग करना भाप ]ारा इलाज करना ठड पानी गम7 पानी तथा सय7 म तपाय गय

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 7: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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पानी का योग तथा विभHन रोग1 क िलए पानी का एिनमा दना भी जल िचकसा क

अHतग7त आता ह जल िचकसा क सबस बड़ वशषता यह ह क इस कोई भी LयA पःतक1

स पढ़कर आसानी स रोग1 क िचकसा कर सकता ह जल क ]ारा रोग1 क िचकसा करन

क िलए कसी वशष या अनभवी क आवयकता नह होती ह परHत गभीर रोग1 म कसी

वशष क दखरख म ह इलाज करना चाहए जल िचकसा क ]ारा लगभग 80 कार क

बीमारय1 और और 25 कार क शाररक वकार1 का इलाज सफलतापव7क कया जाता ह जल

िचकसा म अलग-अलग रोग1 म जल क मोट और पतली धार का योग कया जाता ह जस-

जस रोगी को पराना िसर दद7 हो उसक बाल1 को गनगन पानी म िभगोत ह इसक बाद िसर

पर ठडा पानी मोट और तज धार क साथ छोड़ा जाता ह इसस रोगी का परान स पराना िसर

दद7 दर हो जाता ह अिधक माऽा म पानी पीन स गदg क पथर गलकर िनकल जाती ह दय

रोग म पानी क धार का योग कया जाता ह पvष अपन िलग क वकार को दर करन क

िलए पानी क तज धार को िलग पर डालता ह इसी कार या भी कटःनान ःनान क

सहायता स जननHिय1 क रोग1 को दर करती ह नािभ पर ताब का बत7न रखकर पानी क धार

उस पर डालन स तथा कटःनान करन स पट क छाल न9 हो जात ह जल ःनान और गीली

पट ]ारा परान बलगम तथा कफ का इलाज भी जल ःनान तथा गीली पट स कया जाता

ह पट क बीमारय1 कUज तथा वाय वकार1 को न9 करन क िलए वषा7 क पानी म ःनान

करना चाहए इसक अितरA सय7 क काश म रख गय जल को सवन करना भी ःवाः-य क

9 स लाभकार होता ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

``सय7 िचकसा`` णाली आयवgद िचकसा णाली स भी अिधक परानी ह सय7 िचकसा

णाली मानव क िलए अिधक उपयोगी होती ह आधिनक समय क िचकसक ःवीकार करत ह

भवय म आन वाल समय म सय7 िचकसा ]ारा ह रोग1 का इलाज कया जाएगा bय1क यह

शरर क ितरोधामक शA (इ=यिनट) को बल बनाती ह

``ऋ+वदacuteacute क अनसार सय7 हमार दय और वचा क समःत रोग1 को न9 करन क fमता

रखता ह तथा अHय रोग1 उपHन होन स पहल ह सय7 क काश स न9 हो जात ह यह ससार

क सबस परानी और Lयवःथत िचकसा पFित ह महाभारत म वण7न िमलता ह क भगवान

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 8: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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ौीकण क पऽ `सा=ब` को जHम क समय स ह कछ वकार थ जनका इलाज सय7 िचकसा

क सहायता स कया गया था

यरोपीय दश1 म सय7 ःनान को वशष महव दया जाता ह आधिनक अनसधान1 स ःप9 हो

चका ह क सय7 क करण1 म शरर क रोग1 स मकाबला करन क असीम शA भर होती ह

सय7 िचकसा स सबिधत सबस अिधक रसच7 यरोपीय दश1 म क गई वत7मान समय क

वािनक ःवीकार करत ह क सय7 िचकसा ]ारा खासी जकाम िनमोिनया टबी सफद दाग

वचा क विभHन रोग तथा रAवकार सबधी विभHन रोग आसानी स न9 हो जात ह सय7

िचकसा वशष1 क अनसार अHय िचकसा पFितया शरर क भीतर जहरल कटाणओ पर

हमला करन क साथ ह साथ लाभकार जीवाणओ को भी न9 कर दती ह कHत सय7 िचकसा

शरर क ]ारा ह शरर क रfा करती ह

सय7 िचकसा क आधिनक शोधकzा7ओ क अनसार कित सय7 पर िनभ7र होता ह यह प-वी

और उसक समःत जीव जHत पड़-पौध सय7 क काश स ह अपना जीवनयापन करत ह हमार

प-वी क समःत पदाथ7 सय7 क ह अश होत ह हमारा भोजन भी सय7 स ह ाr होता ह ास

क दय वशष1 क अनसार- जब सौरमडल म तफान आत ह तो दल क दौर1 क मरज1 क

सया बढ़ जाती ह अHय वशष1 क अनसार- जहा दवाइय1 को हजम करन म शरर को

काफ समय लना पड़ता ह वह सय7 क करण हमार शरर म सीध अदर तक जाती ह इसक

बड़ वशषता यह ह क इस िचकसा म बBकल भी खच7 नह करना पड़ता ह यद िनकष7

ःवप कहा जाए तो सय7 ह ःवाः-य ह सय7 ह जीवन सय7 ह शA ह तथा शरर म सय7 क

काश क कमी ह रोग1 का कारण होती ह सय7 क करण1 का सतिलत उपयोग ह रोग1 को

ठwक करन क काम म आती ह

िसF शोधमथ `एडवाHसज इन रसच7 म यह िलखा गया ह क सय7 क करण1 स ह पड़-

पौध1 म सभी वटािमन उपHन होत ह यहा तक क हमार शरर क रोग1 म यA क जान

वाली औषिधय1 म भी औषधीय गण सय7 क करण1 क ]ारा ह होत ह

टश एHसाइbलोपीडया आफ मडकल bटस क अनसार- हमार शरर क वचा पर जब

सय7 क करण पड़ती ह तब वचा को वटािमन `डacute ाr होता ह जसस शरर म सबामक रोग1

स लड़न क शA उपHन होती ह हमार शरर क मासपिशय1 क शाररक fमता बढान

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 9: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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ःनायतऽ क शA हडय1 क मजबती दात1 और मसढ़1 तथा एलज7क रोग1 को दर करन क

िलए सय7 का ःनान बहत आवयक होता ह

रडय1थरपी क वशष1 का भी मानना ह क क सर क ार=भक अवःथा म धप म नग

बदन लटन स जो करण हमार शरर म पहचती ह व करण नय क सर सल को बनन स

रोकती ह तथा इसक साथ ह साथ परान क सर सल1 को खम करन का भी काय7 करती ह

गr रोग वशष1 क अनसार- हमार शरर म रोग1 स लड़न क शA सय7 क करण1 स

बढ़ती ह अत यह सहज ह वmास कया जा सकता ह क गr रोग1 क ार=भक अवःथा म

सय7 िचकसा लाभ दान करती ह

सय7 िचकसा पFित क अनसार- हमार शरर म रग शAय1 क असतलन स रोग उपHन

होत ह आयवgदक िचकसा पFित क अनसार वात पz तथा कफ क वकार1 क कारण स

हमार शरर म रोग उपHन होत ह वात का रग पीला पz का रग लाल तथा कफ का रग

नीला होता ह वात-पz क िमौण का रग नारगी वात-कफ क िमौण का रग हरा और पz-

कफ क िमौण का रग बगनी होता ह इHह रग1 को पहचानकर उनक कमी अथवा अिधकता

पर आयवgदक िचकसा पFित काय7 करती ह

आधिनक वािनक1 क मतानसार- हमार शरर म मयत हाइसोजन काब7न तथा आbसीजन

क अलग-अलग िमौण1 स विभHन अग-यग बन ह हाइसोजन म नीला आसमानी तथा

अHय गहर रग1 क करण होती ह काब7न म पीली रग िलए हए नारगी रग का पीलापन िलए

बगनी और नीली करण होती ह ऑbसीजन म सभी रग1 क करण होती ह योगशा म

शरर क भीतर छ सआम चब1 क मौजदगी बताई गई ह इनम मलाधार-acuteजननHिय स दो

अगल ऊपर तथा गदा स दो अगल नीच तक क fऽ म फला रहता ह यह आकार म 4

पखड़य1 वाल कमल क फल जसा तथा लाल रग का माना जाता ह ःवािधान चब- मलाधार

चब क ऊपर माना गया ह यह आकार म 6 पखड़य1 क कमल क फल क जसा माना गया ह

और इसका रग लोहत माना गया ह मणपर चब इसस भी ऊपर होता ह यह आकार म 12

पखड़य1 स यA कमल क फल क समान होता ह तथा इसक पखड़या लाल रग क िसदर जस

रग क होती ह

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 10: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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बोमोपथी (सय7 िचकसा) क वशष1 क राय ह क शरर पर पील रग क करण1 का

काश डालन स पट क रोग ठwक हो जात ह भख बढ़ जाती ह पाचनशA ठwक हो जाती ह

कUज न9 हो जाता ह िन=नरAचाप (लो Uलडशर) ठwक हो जाता ह इसस गल क खक दर

होकर वचा का रग सह हो जाता ह शरर का दद7 अिनिा तथा मऽवकार1 आद म लाभ

िमलता ह

शरर म लाल रग क करण1 क काश क कमी स कUज उपHन हो जाती ह भख गायब

होन लगती ह शरर टटन सा लगता ह अिधक नीद लगती ह मल और मऽ का रग बदलन

लगता ह नाखन वचा तथा आख1 का रग भी बदल जाता ह नील रग क कमी स दःत होन

लगत ह मऽ म जलन आख1 क रोग बखार िसरदद7 िचड़िचड़ापन उNच रAचाप पीिलया तथा

अHय वकार होत ह बगनी रग क कमी स कUज होन लगता ह हBका बखार ितदन िसरदद7

आलःय तथा एसीडट (गस) उपHन हो जाती ह हमार शरर म सय7 क हर रग क कमी स

होन वाल वकार नील रग और पील रग क कमी स भी हो जात ह मय प स जी घबराना

उBटया आना और कमजोर क िलए भी इसी रग क करण1 का शरर म कमी होना कारण

माना जाता ह आसमानी रग क करण1 क कमी स हमार शरर म दःत पशाब का रग पीला

हो जाना पीिलया क शvआत पसीना अिधक माऽा म आना और बदबदार आना आख1 क रोग

तथा हजा (कालरा) होन क सभावना अिधक बढ़ जाती ह तथा इन रोग1 स लड़न क हमार

शरर क रोगितरोधक fमता भी समाr हो जाती ह सय7 क सफद रग क करण1 क कमी

होन स मानिसक वकार पfाघात तथा िसHनपाितक बखार हो जात ह

सय7 िचकसा णाली ]ारा मल-मऽ वचा कफ आख1 तथा नाखन1 क रग क बारक स

जाच क जाती ह इसक बाद सावधानीपव7क दखा जाता ह क कौन स रग क अथवा कतन

रग1 क असतलन क कारण स रोग उपHन हआ ह हमार शरर म सय7 क एक ह रग क

कमी तथा दसर रग क अिधकता स भी रोग म वF हो जाती ह तथा दसर ओर सय7 िचकसा

स लाभ भी ाr होता ह

सय7 िचकसा पFित म दवाओ और साबन का एिनमा नह िलया जाता ह बBक सय7 क

करण1 स गम7 कय गय पानी को पट साफ करन क िलए योग म लाया जाता ह जसक

शरर म लाल रग क कमी हो उसी रग क बोतल म पानी रखकर िनधा7रत समय क बाद

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 11: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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योग म लाया जाता ह फल1 का रस नीब पानी तथा दध क आधार पर उपवास रखना काफ

महवपण7 माना जाता ह

सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान सय7 ःनान

सय7 ःनान क िलए हम बBकल नग बदन होना पड़ता ह धप क तजी उतनी होनी चाहए

जतना क हम सह सक ितदन शौच आद बयाओ स िनवz हो जान क बाद कवल एक

िगलास पानी पीकर लगभग 20-30 िमनट तक धप म लटन तथा उसक थोड़ दर बाद ठड पानी

स ःनान करन स लगभग समःत रोग1 म लाभ िमल सकता ह सय7 ःनान क समय शरर पर

कबल ओढ़ना चाहए िसर पर पानी स भीगा हआ कपड़ा रखना चाहए थोड़ दर क बाद करवट

बदलती रहनी चाहए ताक पर शरर म सय7 क करण1 का काश पहच सक इसक अितरA

कछ रोग1 जस वात और शीत रोग1 म अथवा नामद (नपसकता) क इलाज क िलए सद7य1 क

धप म नग बदन सय7 क काश म रहन क साथ ह शF सरस1 तथा ितल क तल क मािलश

करन स भी अिधक लाभ िमलता ह सय7 ःनान तथा मािलश स परानी खासी शीयपतन

नपसकता गस बलगम जोड़1 का दद7 चोट मोच रA सबधी रोग हडय1 क वकार वचा क

विभHन रोग जस महास आद ठwक हो जात ह

इसक अितरA विभHन तरक1 स जल ःनान वाप ःनान महन ःनान भीगी पट कमर म

गीली पट का लपट गम7 िसकाई ठड िसकाई तथा गम7 और ठड िसकाई का योग अलग-

अलग रोग1 क िलए होता ह जो वशष1 क दख-रख म वशष तरक स ह कया जा सकता

सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार सय7 नमःकार

सय7 नमःकार तीन कार स लाभकार होता ह पहला धप ःनान दसरा Lयायाम और तीसरा

ाथ7ना ]ारा आमशाित होता ह सय7 नमःकार सबह सयदय क बाद कया जाता ह गम क

मौसम म सय7 नमःकार का समय सबह 9 बज तक तथा सद7य1 क मौसम म सबह 10 बज

तक होता ह सय7 नमःकार क 6 मिाए होती ह इन मिाओ स उपचारामक लाभ ाr होता

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 12: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल रगीन बोतल

हमार शरर म विभHन रग1 क कमी होन पर उस रग क बोतल पर योग क जान वाली

रग क झBली लपटकर उपयोग म लाया जा सकता ह बोतल म पीन क िलए पानी अथवा

मािलश करन हत तल को तीन-चौथाई भर दत ह तथा बाक बोतल को खाली रखत ह सय7 क

काश म बोतल को फश7 क बजाय लकड़ क तत आद पर रखा जाता ह लकड़ का रग भी

झBली क रग क समान रग लत ह और बोतल को लकड़ क काक7 क ढbकन स बद दत ह

इस बोतल को सयदय क समय धप िनकलन पर सय7 क काश म रखा जाता ह थोड़ दर म

बोतल क खाली भाग म ओस क बद1 क समान बद दखाई दन पर उस बोतल को अधर कमर

म रखकर ठडा कर िलया जाता ह इस जल का उपयोग 2 स 3 दन1 तक कया जा सकता ह

तथा इस जल को नमी स दर अधर कमर म रखा जाता ह जल क समान ह तल को भी

रगीन बोतल1 म भरकर िसF करक विभHन रोग1 म योग कया जाता ह तल को िसF करन

क िलए रगीन बोतल म भरकर सयदय स लकर सया7ःत तक लगातार 40 स 45 दन1 तक

धप म रखा जाता ह

चीनी का गाढ़ा घोल बना कर रगीन बोतल1 म भरकर इस भी तल क भाित ह खान क िलए

तयार कर िलया जाता ह वाय भी सय7 क गण1 का समावश करक उजा7यA क जाती ह जसक

सहायता स mास-सबधी रोग1 को न9 कया जाता ह इस कार सय7 क करण1 क काश म

तr कय हए जल तल घी और चीनी क घोल स लगभग सभी कार क रोग1 क सफल

िचकसा क जा सकती ह

फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा फल और सUजय1 क ]ारा रोग1 क िचकसा

मनय क शाररक रचना शाकाहार ह मानव का आमाशय तथा पाचनतऽ मास और अHय

जटल पदाथ क िलए नह ह यह कारण ह क हमार आधिनक खान-पान म गर भोजन

और मास जस जटल पदाथ का सवन नह करना चाहए पट तथा आत1 स सबिधत असतलन

क कारण ह अHय अनक कार क वकार हमार शरर म उपHन होत ह जसक कारण हमारा

शरर रोग1 स मःत हो जाता ह बीमार क बढ़ जान पर फल फल सUजी और जड़ का रस

िनकालकर अथवा कNचा ह खान को िचकसक ]ारा िनदgिशत कया जाता ह यहा पर विभHन

फल1 क योग दय जा रह ह जो िन=निलखत ह-

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 13: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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1 अनHनास अनHनास क गद को बवासीर क मःस1 पर बाधन अथवा लगान स लाभ होता

ह शरर म सजन उपHन होन पर अनHनास खाना लाभकार होता ह आख1 म सजन होन पर

अनHनास का रस 2 बद क लगभग आख1 म डालन स लाभ िमलता ह मऽ सबधी विभHन

कार क क9 और मऽाशय क पथर म अनHनास का रस दन म कई बार पीना लाभकार होता

2 सब दय जोड़1 तथा शाररक कमजार होन पर सब का सवन करना लाभकार होता ह

सब का सवन करन स मानिसक कमजोर दर होती ह सब खात समय यह अवय ह iयान

रखना चाहए क सब को िछलक सहत ह खाए

3 सतरा सतर का रस और शF शहद को एक समान माऽा म िमलाकर आख1 म डालन स

आख1 क सभी रोग1 म लाभ िमलता ह दय रोग स पीड़त LयAय को सतर क िछली हई

फाक1 को आवल क साथ खलाना लाभकार होता ह

4 अखरोट अखरोट का तल दाद को न9 कर दता ह तथा सद स उपHन दद7 म भी

लाभकार होता ह लकव क रोिगय1 क नाक म अखरोट क तल क बद दन म कई बार आख1

म डालना लाभकार होता ह अखरोट क िछलक पीसकर दात1 पर मािलश करन स पायरया

और मसढ़1 क रोग न9 होत ह

5 अनार अनार क सवन स पट क वकार दर होत ह तथा रA भी श] होता ह यह महास1

को दर करता ह तथा जगर क रोग1 को िमटाता ह अनार का रस रातभर लोह क बत7न म

रखकर सबह क समय िनयिमत प स कछ दन1 तक लगातार सवन करन स पीिलया भी न9

हो जाता ह

6 नीब शहद क साथ सबह क समय खाली पट नीब का रस पीन स पट साफ रहता ह तथा

मोटापा कम होता ह यह दय और पzाशय क रोग1 म भी लाभकार होता ह गनगन पानी म

नीब और शहद िमलाकर पीन स जकाम न9 हो जाता ह नीब क िछलक राऽ म सोत समय

मह पर रगड़न स वचा साफ हो जाती ह और सदय7 म वF होती ह

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

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हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

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7 आवला आवल का सवन करन स खासी बवासीर रAवकार गr रोग मऽरोग उBट खक

आद दर होत ह आवला मय प स दय रोग1 म बहत ह लाभकार होता ह आवल को

सUजी क प म कNचा तथा मरUबा बनाकर सवन कया जा सकता ह

8 अमद अमद का सवन पट आत1 और रAवकार को न9 करन क िलए अिधक उपयोगी

होता ह ितदन बीज सहत अमद खान स कUज तथा पट साफ हो जाता ह भाग चरस

गाज का नशा उतारन क िलए अमद का योग कया जाता ह अमद क पz दात1 मख और

मसढ़ क रोग1 को ठwक करत ह अमद को चबाकर खाना चाहए पागलपन तथा अःथर

दमागी हालत म रातभर पानी म रखा अमद खान स कछ ह सrाह म लाभ िमलता ह

9 अगर छोट बNच का कUज दर करन क िलए अगर का रस एक च=मच क माऽा म

पलाया जाता ह सबह-शाम बNच1 को अगर का रस अवय पलाना चाहए इस योग स बNच

क दात बना कसी परशानी क आसानी स िनकल आत ह दल घबरान पर अगर क रस का

सवन करन स तरत लाभ िमलता ह सख अगर और मनbका को दध म उबालकर पीन स

कUज दर हो जाती ह इसक साथ पvष क कामशA भी बढ़ती ह

10 आम रA वकार पट क रोग तथा नपसकता म आम क सवन स लाभ होता ह इस

कNचा अचार अथवा मरUब क प म दध क साथ खान पर लाभ िमलता ह

11 कला दह क साथ कला खान स मह क छाल ठwक हो जात ह और पट क पाचनशA भी

ठwक हो जाती ह कNच कल को उबालकर खान स कUज न9 हो जाती ह

12 खजर खजर क फल का सवन करन स हमार शरर म रA क कमी दर हो जाती ह यद

सbस शA और पाचनशA बढ़ानी ह तो इस दध क साथ सवन करना चाहए

13 जामन जामन क गठली का गदा 10 क माऽा म और अफम क 1 माम माऽा को

िमलाकर पानी क छwट दकर सरस1 जतन आकार क गोिलया बनाकर सबह-शाम दध क साथ

सवन करन स डायबटज (मधमह) म लाभ होता ह जामन का िसरका ितBली और लीवर तथा

पट क बीमारय1 को भी ठwक करता ह

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 15: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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सUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योगसUजय1 क कछ िचकसीय योग

1 लहसन को पीसकर िसर पर लगान स माइमन (आध िसर का दद7) का दद7 दर होता ह इस

पीसकर बNछ क डक लग हए ःथान पर लगान स बNछ का जहर शीय ह उतर जाता ह

2 ितदन आधा कलो गाजर का रस पीन स पट क कड़ मल क साथ बाहर िनकल जात ह

3 ातकाल क समय 10 बादाम खाकर 250 िमलीलीटर गाजर का रस एक िगलास क माऽा म

पीन स दमागी शA बढ़ती ह

4 मली का रस पानी क साथ बराबर माऽा म िमलाकर पीन स तथा उसक साथ सधानमक

डालकर गरार करन स गल क भीतर क घाव दर हो जात ह

5 बथए क पz को सफद दाग1 पर रगड़न और रोट क साथ खान स सफद दाग न9 हो जात

6 पोदन को एBकोहल क साथ पीसकर चहर पर लगान स चहर क दाग-धUब झाईया तथा

आख1 क नीच क काल घर न9 हो जात ह और चहरा आकष7क हो जाता ह

मसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योगमसाल1 क कछ िचकसीय योग

मसाल1 क गण1 का भी वनःपितय1 िचकसा म उपयोग कया जाता ह

1 सधानमक का एक छोटा सा टकड़ा मह म रखकर चसन स खासी तज हो जाती ह तथा सीन

म जमा हआ कफ खासी क साथ शरर स बाहर िनकल जाता ह

2 सधानमक को बारक पीसकर तथा कपड़ स छानकर आख म लगान स आख क खजली

जाला तथा धHध म लाभ िमलता ह

3 गल क सभी रोग1 म गम7 पानी म सधानमक डालकर सवन करन स लाभ िमलता ह

4 पानी म नमक को िमलाकर ःनान करन स ःनाय क कमजोर म लाभ िमलता ह

5 िसरदद7 स पीड़त होन पर पस हए नमक को जीभ स चाटकर पानी पीन स दद7 समाr हो

जाता ह

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 16: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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6 सद और जकाम स पीड़त होन क बाद अदरक क चाय पीन स आराम आता ह

7 ःवर भग (गला बठना) म अदरक क साथ नमक का सवन करना चाहए इसक योग स

कUज और गस म भी लाभ िमलता ह

8 पसी हई हBद को लगान स खन का बहना बद हो जाता ह घाव को साफ करन क बाद

हBद को जम म भर दत ह भीतर चोट तथा सजन होन पर दध म एक चटक हBद

डालकर पीन स तरत ह लाभ िमलता ह हBक गम7 पानी म एक चटक हBद डालकर तीन

दन1 तक सबह-शाम िनयिमत प स पीन स पट क कड़ मर जात ह

सय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसासय7 िचकसा

परचयपरचयपरचयपरचय

कसी भी ाणी क जीवन क रfा करन वाली सार ताकत1 का असली ॐोत सय7 ह ह `सय ह

भतानामाय अगर सय7 ना हो तो कोई भी ाणी एक पल भी ज़दा नह रह सकता ह जदगी म सय7

क करण1 का भी बहत यादा महव होता ह जब सय7 क करण कसी भी मनय क शरर पर पड़ती

ह तो उसक बड़ स बड़ रोग दर हो जात ह

सय7 क करण1 स शरर म रोग1 को पदा होन वाल कटाण न9 हो जात ह सय7 क ]ारा रोग1 को दर

करन क वषय म अथवgद म िलखा ह-

मा त ाण उप दसHमो अपानोऽप आिय त सय7ःतवािधपितम7तयोvदायNछत रमिभ

अथा7तअथा7तअथा7तअथा7त----

ह जीव तरा ाण कभी वनाश को ना ाr हो और तरा अपान भी कभी ना vक अथा7त तर शरर क

सास लन क और सास छोड़न क बया कभी भी बद ना हो सबका मािलक सय7 तझ अपनी ताकतवर

करण1 स ऊचा उठाकर रख तर शरर को और जीवन शA को कभी भी िगरन ना द

सय7 का असर हर मनय क शरर और मन पर बहत यादा पड़ता ह िचकसक1 का कहना ह क सय7

क करण1 क सवन स हर कार क रोग1 को दर कया जा सकता ह यजवgद म िलखा गया ह क

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 17: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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चराचर ाणी और सार पदाथ क आमा तथा काश होन स परमmर का नाम `सय7 ह वद म सय7 को

जीवनदाता कहा गया ह

सय7 स िमलन वाली शA सआम आहार क कमी को परा करती ह जीवनी शA को बढ़ाती ह और शरर

क रोग1 को दर करती ह इसक अलावा य ऊजा7 ःनाय क कमजोर को समाr करती ह मासपिशय1 को

मजबत बनाती ह कBशयम और फॉःफोरस को सतिलत करक हडय1 को मजबत करती ह वचा को

ःवाः-यता दान करती ह पाचनतऽ और मल को बाहर िनकालन क बयाओ को ताकत दती ह सय7

क रोशनी स दमाग और शरर का वकास होता ह सय7 क करण रोग1 को फलान वाल कटाणओ को

दर करती ह इसी कारण स जन लोग1 क घर1 म कसी कारण स सय7 क करण नह पहच नह पाती

उस घर क लोग1 को रोग यादा घरत ह

सय7 क करण (धप) सवन क विधया-

सय7दश7नसय7दश7नसय7दश7नसय7दश7न----

bullसबह क समय उगत हए सय7 क लाल करण1 को दखन स आख1 क सार रोग दर होत ह नद या

तालाब क पानी म सय7 क परछाई को दखन स आख1 क रोशनी तज होती ह

bullसबह-सबह एक लोट म पानी लकर उस पानी को सय7 क सामन धार क प म िगरात हए उस पानी

क धारा क बीच म स सय7 क दश7न करन स शाररक और मानिसक रोग समाr हो जात ह

सय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनानसय7 ःनान----

bullसय7 ःनान करन क िलए सबस पहल िसर पर गीला कपड़ा रखकर अपन शरर पर िसफ7 एक व

पहनकर धप वाल ःथान पर बठकर या लटकर सय7 क सीधी पड़न वाली करण1 को अपन शरर पर

लना चाहए

bullय1 क िलए अगर सय7 ःनान करन क जगह ना हो तो उनको अपन शरर पर बBकल बारक कपड़ा

पहनकर धप म बठन या लटन स फायदा होता ह

bullसय7 ःनान करत समय एक बात का हमशा iयान रखना चाहए क आपका िसर छाया म ह होना

चाहए या उसक ऊपर िभगोया हआ तौिलया डाल लना चाहए य सय7 ःनान सबह क समय सय7 क

उगन क बाद 8-9 बज तक कर लना चाहए

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 18: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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bullसय7 ःनान करन का समय कम स कम 15 िमनट और यादा स यादा 30 िमनट का होना चाहए

य ःनान करन क बाद अपन शरर को तौिलय स अNछw तरह रगड़कर साफ पानी स नहा लना चाहए

लाभकारलाभकारलाभकारलाभकार----

िनयिमत प स सय7 ःनान करन स दात1 क रोग भख कम लगना हडय1 का कमजोर होना और

मासपिशय1 क रोग दर हो जात ह

धधधधप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलशप म तल मािलश----

कसी भी LयA को पर सrाह म कम स कम एक बार ितल या सरस1 क तल स अपन शरर पर घष7ण

या थपक बया क जरय मािलश करनी चाहए शरर क कसी भी अग क मािलश करत समय उसका

दबाव दल क तरफ गित करत हए दना चाहए

रग िचकसारग िचकसारग िचकसारग िचकसा----

साधारण तौर पर सय7 म स िनकलनी वाली करण1 का रग सफद ह होता ह लकन असल म य करण

7 रग1 क िमलन स बनती ह-

bullलाललाललाललाल

bullनारगीनारगीनारगीनारगी

bullपीलापीलापीलापीला

bullहराहराहराहरा

bullबगनीबगनीबगनीबगनी

bullनीलानीलानीलानीला

bullआसमानीआसमानीआसमानीआसमानी

जब कसी भी LयA क शाररक सःथान म कोई सा रग यादा माऽा म हो जाता ह या कम माऽा म

हो जाता ह तो उसी क अनसार LयA को रोग हो जात ह

दए गए सात1 रग1 म सभी तरह क औषिध गण होत ह जHह पानी शहद घी तल इयाद म िमलाकर

उनका लाभ ाr कया जा सकता ह

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 19: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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बनान क विधबनान क विधबनान क विधबनान क विध----

अलग-अलग रग1 क पानी शहद घी तल इयाद बनान क िलए उHह रग1 क बोतल म 34 भाग

भरकर ऊपर vई लगाकर ढbकन बद करक बना पट-पािलश क लकड़ क पट पर धप म सबह स

शाम तक रख इनको बनान क दौरान बोतल को रोजाना हला लना चाहए तथा vई भी बदल लनी

चाहए अगर कसी रग क बोतल न िमल तो सफद रग क बोतल पर उस रग का पारदिश7त कागज

लपट ल

पानी को रोजाना बनाया जा सकता ह शहद 15 दन म तयार होता ह घी तथा तल डढ़ महन म

तयार होता ह

इस पानी को 3 दन तक पीन क िलए इःतमाल कर सकत ह घी तथा तल को साल भर तक

इःतमाल कर सकत ह

bullतल को कवल बाहर योग क िलए इःतमाल करना चाहए

bullघी रढ़ क मािलश या आख1 म लगान क िलए

शहद सफर करन क िलए खासतौर पर बनाया जाता ह bय1क सफर करन क दौरान पानी को नह

तयार कया जा सकता ह

अलगअलगअलगअलग----अलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमालअलग रग1 क असर और उनका इःतमाल----

लाललाललाललाल----

bullलाल रग बहत यादा गम7 होता ह शरर क ठड पील जद7 या नील नील होन क अवःथा म य बहत

लाभकार ह सद क कारण होन वाल रोग1 म तथा शरर क िनजxव भाग को चतना दान करन म य

बहत ह उपयोगी ह इसका इःतमाल िसफ7 बाहर तौर पर करना चाहए

bullनपसकता क रोग म लाल बोतल का तल िलग पर लगान स नपसकता दर होती ह

bullजोड़1 म दद7 क रोगी क दद7 वाल ःथान पर मािलश करन स जोड़1 का दद7 दर हो जाता ह

bullलाल तल को लगान स ना पकन वाला फोड़ा भी पककर फट जाता ह

bullसद7य1 क मौसम म पर1 क एड़या फटन पर लाल तल लगान स फट एड़या ठwक हो जाती ह

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 20: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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bullयादा परानी खासी दमा िनमोिनया आद क रोग म रोगी क छाती पर लाल तल स मािलश करन स

लाभ होता ह

bullशरर म लाल रग क कमी होन स सःती यादा नीद आना भख न लगना कUज जस रोग पदा हो

जात ह

bullअगर LयA क शरर म लाल रग क अिधकता हो जाती ह तो उसक शरर म गमx नीद न आना पतल

दःत आद हो जात ह

bullकमर दद7 और गद7न क दद7 म लाल तल क मािलश लाभदायक साबत होती ह

नारगीनारगीनारगीनारगी----

bullनारगी रग लाल रग स कम गम7 होता ह य ःनाय और खन को उzजत करता ह

bullदम क रोिगय1 क िलए नारगी रग बहत ह उपयोगी ह

bullय रग भख को तज करता ह और जोड़1 क दद7 को भी समाr करता ह

पीलापीलापीलापीला----

bullपीला रग नारगी रग स थोड़ा सा कम गम7 होता ह य मन म खशी पदा करता ह

bullपीला रग दःत लान वाला भी होता ह जसस मल और पशाब खलकर आता ह

bullपीला रग दमाग जगर और ितBली (|लीहा) को मजबत करता ह

bullय कमजोर दमाग को तज करता ह तथा लकवा क रोग म भी लाभकार ह

bullपीला घी आख1 म लगान स आख1 क जलन आख1 का लाल होना आद रोग तो दर होत ह ह साथ ह

इसस आख1 क रोशनी तज होती ह

हराहराहराहरा----

bullहरा रग न तो यादा गम7 होता ह और ना ह ठडा होता ह य रग आख1 को ठडक पहचाता ह

bullय1 क हःटरया रोग और योिन क जलन म हरा रग बहत लाभ करता ह

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 21: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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bullअगर कसी LयA का वीय7 अपन आप ह िनकलता रहता ह तो उस रोगी क रढ़ क हड क नीच क

भाग म हर रग क रोशनी और हर तल क मािलश करन स लाभ होता ह

bullकसी भी तरह क बखार बहन वाला फोड़ा जम नासर भगदर और चमड़ क रोग1 क िलए य रग बहत

ह भावशाली असर डालता ह

bullइसक अलावा टाईफाइड खसरा आख1 क रोग मधमह खासी जकाम बवासीर आद म य रग बहत

लाभदायक ह

बगनीबगनीबगनीबगनी----

bullबगनी रग ठडा होता ह इसस नीद बहत अNछw तरह स आती ह

bullफफड़1 क टबी क रोग म बगनी रग बहत असर करता ह

bullबगनी रग स खन क अदर मौजद लाल कण बढ़त ह

नीलानीलानीलानीला----

bullनीला रग बगनी रग स ठडा होता ह

bullयह रग बखार को दर करन वाला ःनाय को मजबत करन वाला और बार-बार |यास लगन को शात

करता ह

bullनीला रग आमाशय क रोग योिन क जलन और दर रोग1 म बहत लाभ करता ह

bullगल म कसी तरह क परशानी होन पर नील पानी स कBला करन स लाभ होता ह

आसमानीआसमानीआसमानीआसमानी----

आसमानी रग बहत ह ठडा होता ह य रग गमx और जलन स होन वाली परशािनय1 म आराम पहचाता

ह और य एटस|टक गण वाला ह य रग ःनाय क ताकत को बढ़ाता ह और हर तरह क बखार को दर

करता ह खन क बहन को बद करता ह य1 क मािसकधम7 क समय ॐाव यादा आन म हजा आद

म भी य रग बहत लाभदायक ह य रग |यास को बझाता ह अथवा आमाशय क उzजत अवःथा म

बहत लाभकार ह य िसर और बाल1 क रोग1 को भी समाr करता ह

सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 22: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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आसमानी रग का इःतमाल गठया गस क रोग लकवा और कUज क रोग म इःतमाल नह करना

चाहए

आसमानी तलआसमानी तलआसमानी तलआसमानी तल----

bullआसमानी तल क छाती पर मािलश करन स दल को ताकत िमलती ह

bullगमx क कारण होन वाल िसर क दद7 म आसमानी तल क मािलश करन स लाभ होता ह य बाल1 को

लबा काला और मलायम बनाता ह

bullी क पड़ पर मािलश करन स उसका मािसकॐाव कम हो जाता ह य तल ी क हःटरया रोग को

भी न9 करता ह

आसमानी घीआसमानी घीआसमानी घीआसमानी घी----

bullमह म छाल होन पर आसमानी घी लगान स आराम आता ह

bullरढ़ पर मािलश करन स ःनाय क ताकत बढ़ जाती ह

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए-

उ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहएउ क मताबक कतना सय7तr पानी पीना चाहए----

उउउउ कतनकतनकतनकतन समय क बादसमय क बादसमय क बादसमय क बाद कतनीकतनीकतनीकतनी माऽामाऽामाऽामाऽा

जHम क दन स 1 महन

तक

हर 2-2 घट क बाद आधा छोटा च=मच

पहल महन स तीसर

महन तक

हर 2-2 घट क बाद पोना छोटा च=मच

तीसर महन स 1 साल

तक

हर 2-2 घट क बाद परा छोटा च=मच

पहल साल स पाचव साल

तक

हर 2-2 घट क बाद 4 छोट च=मच

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 23: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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पाचव साल स दसव साल

तक

हर 3-3 घट क बाद छोट कटोर आधी भर

हई

15 साल क बाद हर 4-4 घट क बाद 1 छोट कटोर भर हई

कपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ाराकपड़1 ]ारा सय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पानासय7 करण1 को पाना----

हर LयA को अपन शरर पर हमशा ऐस कपड़ धारण करन चाहए जनका रग बBकल सफद हो और

जनक अदर स सय7 क करण LयA क शरर पर पड़ कसी खास रोग म जो रग लाभ करता ह

उसको उसी रग क कपड़ पहनन चाहए

सय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करसय7 तr जल तयार करन क विधन क विधन क विधन क विध----

एक सफद काच क बातल म लगभग 3 चौथाई ताजा पानी भरकर लकड़ क ढbकन स बद कर दना

चाहए बोतल का मह बद करन क बाद उस लकड़ क कसी तत पर रखकर धप म रख दना चाहए

लगभग 7-8 घट1 क बाद सय7 क करण1 क असर स सय7 तr होकर पानी औषिध बन जाता ह और

उसम रोग िनवारक खिनज रसायन और वटािमन आद िमल जात ह पानी चाह तो अलग-अलग रग

क बोतल म बनाना चाहए लकन iयान रखना चाहए क एक रग क बोतल क छाया दसर रग क

बोतल पर नह पड़नी चाहए

bullजब बोतल धप म रखी हो और उसक गम7 हो जान स उनक खाली भाग पर भाप क बद या बलबल स

नज़र आन लग तो समझ लना चाहए क पानी औषिध क प म इःतमाल क िलए तयार ह धप क

समाr होन स पहल लकड़ क तत क साथ ह बोतल को घर म कसी ःथान पर रख द और सय7 तr

पानी को अपन आप ह ठडा होन द इसक बाद य पानी 3 दन तक इःतमाल म लाया जा सकता ह

यह पानी परान रोग क रोिगय1 को पानी 25 सीसी क माऽा म दन म 3 बार दना चाहए यादा

खतरनाक रोग1 म 25 सीसी हर 2-2 घट क बाद बखार और हजा रोग म 25 सीसी हर डढ़ घट क बाद

रोगी को दना चाहए नारगी बोतल का पानी नाता या भोजन करन क लगभग 15 िमनट बाद लना

चाहए नील और हर रग क बोतल का पानी हमशा खाली पट ह लना चाहए bय1क इस पानी का

काम शरर क अदर मौजद गदगी को बाहर िनकालना और खन को साफ करना ह

bullअगर कोई LयA टॉिनक क प म सय7 तr जल को पीना चाहता ह तो उस पानी को सफद काच क

बोतल म भरकर तयार कर इस पानी स बाल धोन स बाल1 म चमक पदा होती ह और बाल झड़त भी

नह ह

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

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हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 24: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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सावधानीसावधानीसावधानीसावधानी----

bullसय7 तr जल को तयार करन क िलए हमशा काच क बोतल ह इःतमाल म लानी चाहए |लाःटक

क बोतल का योग न कर

bullकाच क बोतल पर लकड़ का ढbकन लगाना चाहए

bullबोतल उसी रग क होनी चाहए जस रग का पानी या तल तयार करना होता ह

bullअगर कसी कारणवश रगीन बोतल ना िमल तो सफद काच क बोतल पर ह तयार करन वाल रग क

पानी क रग का सलोफन कागज डबल करक लपट द और धाग स बाध द परत अगर कागज का रग

िनकल जाए तो बोतल पर दसरा कागज लपट द

bullबोतल को इःतमाल म लान स पहल अNछw तरह स गम7 पानी म डालकर उबाल ल और सखा ल

बोतल पर दसरा कोई भी कागज नह िचपका नह होना चाहए

bullबोतल को हमशा कसी लकड़ क पटर पर ह रखना चाहए जमीन पर नह

bullसबह 7 बज स लकर शाम को 5 बज बोतल को पटर पर रखकर धप म रख दना चाहए

bullसय7 तr पानी िसफ7 8 घट म ह तयार हो जाता ह और इसका असर लगभग 3 दन तक रहता ह

bullसय7 तr तल लगभग 40 दन1 म तयार होता ह और इसका असर 6 महन तक रहता ह 6 महन क

बाद इसको दबारा धप म रखा जाए तो इसका असर श हो जाता ह

bullबोतल को कभी भी बोतल क तीसर भाग स यादा नह भरना चाहए

bullबोतल को कपड़ स ढककर नह रखना चाहए

सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क सय7 तr तल तयार करन क विधविधविधविध----

अपन पसद क कसी रग क सखी और साफ बोतल म नारयल या सरस1 का तल बोतल क लगभग 3

चौथाई भाग तक भर द और उसक ऊपर कसकर ढbकन लगा द तथा बोतल को कसी लकड़ क पटर

पर रख द इस बोतल को रोजाना 7-8 घट1 तक धप म रखना चाहए इस बोतल को बाहर स रोजाना

कसी सख कपड़ स प1छ ल इस बोतल क तल म आप एक च=मच अजवायन डाल सकत ह बोतल

को रोजाना दन म 2 बार अNछw तरह स हलाना चाहए गिम7य1 क मौसम म 40 दन और सद7य1 क

मौसम म 60 दन तक इस धप म रखन स इस तल म रोग1 को और दद7 को दर करन क गण पदा हो

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 25: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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जात ह इस तल स िनयिमत प स मािलश करन स वचा मलायम और चमकदार बनती ह तथा

कमजोर हडया मजबत हो जाती ह रोगी क शरर म जहा पर गठया या जोड़1 का दद7 हो उस जगह

इस तल क मािलश करन स बहत लाभ िमलता ह लाल रग क बोतल क तल स मािलश करना सबस

अNछा होता ह तथा हर रग क बोतल का तल दमाग और बाल1 क िलए सबस बहतर होता ह जस

दन शरर म इस तल क मािलश कर उस दन साबन नह लगाना चाहए इस तल क सrाह म 2

बार मािलश करनी चाहए जहा तक हो सक इस तल क मािलश सबह 8 स 9 बज क बीच म ह

करनी चाहए तथा मािलश क 10-15 िमनट क बाद तक धप म ह लट रहना चाहए और इसक बाद

ःनान कर लना चाहए धप म लटत समय आख1 को बद कर लना चाहए ताक सय7 क करण आख1

को कोई नकसान नह कर पाए आख1 क रोशनी तज करन क िलए कल क पz या कोई भी दसरा हरा

पzा जस- पीपल आद का पzा ल ल और उसम आध इच का गोल सा छद कर ल और अपनी दोन1

आख1 पर एक-एक पzा रख ल और धप म लट जाए जब पz1 क छद म स सय7 क करण आख1 पर

पड़ती ह तो इसस आख1 क रोशनी तज हो जाती ह और आख1 म चमक भी आ जाती ह

==================================================================

सय7 िचकसा एक बहत परानी ाकितक रासायिनक त)व1 वाली िचकसा ह सय7 ःनान सतरगी करण1

क सातो रग लाल हर एव नील रग1 क गण ह इस िचकसा क मय वशषताए ह सय7 क करण

एव इसक सात रग1 ]ारा हमार शरर को लाभ दन क उzम एव लाभकार तकनीक ह सय7 क करण1

क सात1 रग हरक रोग म सफल इलाज क अितरA रोगी को तदरःती दान करन म मह)वपण7 भिमका

िनभाती ह इसीिलए lsquoबोमोपथीrsquo हािनरहत बना लागत ाकितक रासायिनक त)व सय7 दव क अमBय

आशीवा7द स ससजत ह इस पःतक म सय7 िचकसा ]ारा आसान तरक स विभHन रोग1 क उपचार

बताए गए ह एक साधारण LयA भी इस िनःशBक िचकसा स लाभ ाr कर सकता ह

हमार ऋष-मिन भी सय7 क करण1 म िनहत असीम रोगनाशक शAय1 स अवगत थ ऋ+वद और

अथव7वद म सय7 भगवान स आरो+य क आशीवा7द क कामना क िलए अनक ोक ह

िोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नमिोग मम सय7 हरमाग च नाशम नम सया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोगसया7ऽ शाताऽ सव7 रोग वनाशन आयवनाशन आयवनाशन आयवनाशन आय

आरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोआरो+यमmय7 दह दव नमोugraveःततःततःततःतत

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 26: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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ह सय7 नारायण मर दय रोग का नाश करो सव7 रोग1 का वनाश कर शाित दान करन वाल ह सय7

दव आपको शत-शत नमःकार ह ह सय7 भगवान आप हम आय आरो+य और ऎmय7 द

दLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचदLय सय7 करण िचकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महवकसा एव इसका महव

महष7 चरक जी आयवgद क मम7 ानी थ इसक अलावा वह सभी शा1 क ाता थ उHह1न सय7

करण तथा रग िचकसा का बड़ ह वःतार स वण7न कया ह उHह क आशीवा7द स उनका दश7न

वचार साय दश7न ह हमारा ितिनिधव करता ह

बहत स रोग1 का इलाज खान-पान स जस अकरत चना ताज फल हर सUजया लन स ह हो जाता ह

िचकन और मसालदार वःतओ को अपन भोजन म स हटा दन स वौाम Lयायाम (टहलना) वशष

Lयायाम जस Lयायाम आद करन स तथा वाय परवत7न आद स हो जाता ह मरा तो एक ह फज7 ह

क रोगी को पीड़ा स मA िमल रोग दर ह1 व हर मनय सखी जीवन जी सक

इस कताब को िलखन का उय कवल रोिगय1 को िनरोगी बनान का ह ह तथा समाज क कBयाण क

िलए सय7 करण और रग िचकसा क बार म जामत करना ह

सय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसासय7 करण और रग िचकसा

बोमोपथी bया ह सय7 करण और रग िचकसा एक परानी ाकितक िचकसा पFित ह जसक

अHतग7त आयवgद पFित क मल िसFाHत वात पz तथा कफ क तरह ह शरर म रग1 क घटन-बढ़न स

रोग1 क उपz मानी गई ह रोग ात होन पर जस रग क शरर म कमी हो उस रग क पण7 हो

जान पर रोग1 स छटकारा पाया जाता ह इन रग1 क उपz क मल ॐोत भगवान सय7 ःवय ह सय7

क तजःवनी करण िभHन-िभHन रग1 को िलय हए होती ह जनको उसी रग क पारदशx बोतल1 म

जल क ]ारा अवशोषत कया जाता ह

जस रग क बोतल होती ह उसम भर जल म सय7 क करण उसी रग क िचकसकय गण छोड़ दती

ह जसक कारण वह जल साधारण चल न होकर एक औषिध क प म तयार हो जाता ह यlप यह

जल दखन म साधारण ह लगता ह परHत जस रग क बोतल म यह सय7 क रोशनी म चाज7 कया

हआ होता ह उस रग क पण7 िचकसकय गण इसम समाहत होत ह

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 27: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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यह िचकसा सभी जगह सलभ व िनःशBक ाr होती ह जसक ाr करन म कसी भी LयA को

कोई कठनाई नह होती ह इस िचकसा स असाधारण स असाधारण रोग भी ठwक कए जा सकत ह

इसक िलए रोगी को अपन मनोबल और िचकसा पर वmास कायम रखना चाहए

सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा सय7 करण और रग िचकसा ((((बोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपीबोमोथरपी) ) ) ) क उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगताक उपयोिगता

महष7 आचाय7 चरक क अनसार जस सगित म सभी औषिधया एक सग रहती ह वह सय7 करण और

रग िचकसा ह ह इस पFित क औषिधय1 क माiयम स सभी रोग1 स बड़ आसानी स मA िमल

जाती ह

1 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स औषिध बनान क विध एकदम सरल ह उसी कार सय7

तr तथा सय7 चाज7 स बनन वाली औषिधय1 को बनान क विध भी एकदम सरल ह

2 इस पFित स उपचार करत समय न तो दद7 होता ह और न कसी कार का कोई क9 होता ह

3 सय7 करण और रग िचकसा क माiयम स इस पFित म जहरला योग नह होता और न ह बरा

भाव (रयbशन) पड़ता ह

4 इस पFित म बहोश करन क आवयकता नह पड़ती और न ह चीर-फाड़ करन क आवयकता होती

5 उसी कार जम और घाव का िनशान तक नह पड़ता ह सय7 क करण1 म रोग1 को न9 करन क

वशष fमता होती ह

सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण सय7 करण1 म सात रग1 क गण

1 बगनी (Violet)

शीतल लाल कण1 का वध7क fय रोग का नाशक ह तथा ववधता का तीक ह

2 गहरा नीला (Indigo)

शीतल पz रोग1 का नाशक वर नाशक तथा शाHत दान करन वाला ह सय7 शरर को िनरोिगता

दान करता ह

3 आसमानी (Blue)

शीतल पz रोग1 का नाशक तथा वरनाशक आशा का तीक होता ह

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 28: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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4 हरा (Green)

समF और बF का तीक ह समशीतोण वात रोग1 का नाशक और रA शोधक ह ताजगी उसाह

ःफित7 और शीतलता का तीक होता ह

5 पीला (Yellow)

यश तथा बF का तीक होता ह ऊण कफ रोग1 का नाशक दय और पट रोग1 नाशक होता ह

सयम आदश7 परोपकार का तीक होता ह

6 नारगी (Orange)

आरो+य तथा बF का तीक ह ऊण कफ रोग1 का नाशक मानिसक रोग1 म शAवध7क ह तथा दवी

महवाकाfा का तीक होता ह

7 लाल (Red)

म भावना का तीक होता ह अित गम7 कफ रोग1 का नाशक उzजना दन वाला और कवल मािलश क

िलए उzम होता ह

आप क गाड़ म हटर पर लाल एव ठडक पर नीला िनशान bय1 जी ह यह बोमोपथी ह ह

रग क तीन परवार1 का मह)व

1 पीला नारगी लालmdashइन तीन1 रग1 म स नारगी रग ह ठwक रहता ह

2 हरा रगmdashयह रग शीतोण होन क कारण सबस उzम होता ह

3 बगनी रग गहरा नीला रग और आसमानी नीला रग इन तीन रग1 म गहरा नीला रग ह ठwक रहता

रोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसारोगी क दोष क अनसार रग1 ]ारा िचकसा

नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7नील रग क गण धम7

पz दोष1 म शरर म गमx बढ़ जाती ह इसका सHतलन नील रग क ठडक दन वाला सय7 तr नील

पानी और सय7 चाज7 वाय आद स होता ह यह हर कार क पz जHय धान रोग1 को दर करता ह

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

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हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 29: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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तथा शाHतवध7क ह सदल कासमी सतरा नीब bलोरोफाम7 हाइसोजन अBयिमिनय नीलम आद म नील

रग क करण1 क तव समाए होन क साथ-साथ ह च=बकय शA भी वlमान ह

1 सय7 चाज7 नीली बोतल का पानी सार शरर को ठ डक दन वाला होता ह

2 शरर क अ+न को कम करता ह तज बखार को कम करता ह वर म यादा |यास लगन को

सतिलत करता ह |यास बझाता ह चोट क कारण बहन वाल खन को बद करता ह

3 सय7 चाज7 कए नील तल को िसर म ताल और कनपट पर मािलश करन स िसर दद7 ठwक हो जाता ह

और बखार भी कम हो जाता ह

4 दःत तथा खनी पिचश म योग करन स यकनन आराम आ जाता ह

5 गमx स शरर पर दान चहर क कल-महास फोड़-फसी आद होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल

स ठwक हो जात ह और अNछा लाभ होता ह

6 मNछर बNछ तथा ततया आद क काटन पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स तरHत फायदा होता ह

7 सय7 करण और रग िचकसा स तयार नारयल क नील तल को लगान स तरHत लगान स जल

जान क जगह पर तरHत आराम आ जाता ह फफोला भी नह पड़ता नीला तल लगाना बहत लाभकार

8 टािसल बढ़न पर सय7 तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का गल म लप

करन स लाभ िमलता ह

9 दात दद7 मसड़1 क सजन दात1 म भोजन या पानी गम7-सद7 लगना तथा मह म छाल1 क पड़न पर सय7

तr नील पानी स गरार कर और सय7 चाज7 नीली +लसरन का मह म लप करन स तरHत आराम

िमलता ह

10 बNच1 का काग लटकन (िघHड) पर सय7 चाज7 +लसरन मह म लगान स कछ ह दन म आराम आ

जाता ह

11 कल-महास फोड़-फिसया और सजन हो जान पर सय7 चाज7 नीला तल लगान स लाभ िमलता ह

12 कान म दद7 होन पर सय7 चाज7 नारयल का तल हBका गम7 करक कान म डाला जाए तो तरHत

आराम आ जाता ह

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 30: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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13 तज बखार म अथा7त एक सौ एक डमी स यादा अगर बखार हो जाए तो िसर म ताल पर सय7 चाज7

नारयल क नील तल क धीर-धीर मािलश करन स और पीन क िलए सय7 तr नीला पानी दन स रोगी

को लाभ होता ह लकन अगर एक सौ एक डमी स कम बखार हो तो नीला पानी बद कर द और सय7

तr हरा पानी दन स लाभ होता ह

14 ःनाय तऽ (नव7स िसःटम) क उzजत होन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर ताल म

हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स शाित िमलती ह

15 बवासीर क मःस1 या अश7 पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल कछ दन लगान स बहत लाभ होता

16 बNच1 क दात िनकलन पर सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर तीन-चार बद डाल कर हाथ

क अगली पोर1 स मािलश करन स बNच1 क दात आसानी स िनकल आत ह

17 दमागी काम करन वाल1 क िलए सय7 चाज7 नारयल क नील तल क ताल पर हाथ क अगली पोर1

स धीर-धीर दस-पHिह िमनट मािलश कर यह दमाग क िलए बहत अNछw औषिध ह

18 तज वर म सय7 चाज7 नारयल क नील तल क िसर पर मािलश करन स तज वर म फायदा होता

19 सखी खजली दाद-खाज आद पर सय7 चाज7 नारयल का नीला तल लगान स ठ डक और शाित

िमलती ह

20 सय7 चाज7 नील तल स तयार क हई दवाई सब कार क ठ डक दन वाली दवाइय1 स सव7ौ होता

21 जो लोग नीद क गोली खाकर नीद लत ह व अब सय7 चाज7 नारयल का नीला तल िसर म ताल पर

लगाकर हाथ क अगली पोर1 स धीर-धीर मािलश करन स गहर व मीठw नीद का आनHद ल सकत ह

रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा रग िचकसा ----

सय7 क लाल (Infra red) पराबगनी (Ultravoilet) करण1 क कटाणनाशक fमता स हमार वदक ऋष

भलीभाित परिचत थ वाःत िनयम1 म पव7 दशा ःनानागार क िलए शःत मानी गई ह वदक काल

म उषा काल म ःनान का ावधान था

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 31: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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इस कार वटािमन ड स भरपर बाल सय7 क करण1 का सवन LयA करता था और ःवःथ रहता था

योग म सय7 नमःकार और आसन का भी यह उय ह ऽाटक वधा म बाल सय7 को एकटक दख जान

का ावधान ह सय7 क धात सोना और ताबा होती ह आयवgदाचाय7 ताब क पाऽ म रात भर रखा हआ

पानी सबह पीन क सलाह दत ह अत सय7 क सr रमया पण7 ःवाः-य दान करन वाली ह

रग िचकसा म विभHन रग1 वाली बोतल1 म तयार कए गए जल क योग स इलाज कया जाता ह

एक विश9 रग क बोतल म पानी भरकर उस धप म रखा जाता ह और फर इस जल का सवन कया

जाता ह इस विध म बीमार और अग वशष क प9 क िलए यA रग क तलना योितष म मह1

और उHह दz रग1 स क जाए तो आWय7जनक तारत=य दखन को िमलता ह

लाल रग लाल रग लाल रग लाल रग

लाल रग क बोतल म तयार जल का योग शरर पर ऊण भाव क िलए होता ह यह बलदायक होता

ह तथा वlत भाव क कारण शरर को शA दान करता ह

योितष म लाल रग मगल का तीक होता ह जHम पऽका म यद मगल सढ़ ःथित म नह हो तो

इसका तापय7 ह मगल मह क रम क कमी ऎसा LयA शाररक और मानिसक प स कमजोर

होता ह

एक लाल रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर लाल रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

पीला रग पीला रग पीला रग पीला रग

पील रग क बोतल म तयार पानी वशष प स यकत और |लीहा पर होता ह यह यकत क िशिथलता

को दर करता ह योितष म पीला रग बहःपित दव का माना जाता ह मडकल एःशोलॉजी म बहःपित

का यकत (i1er) पर आिधपय माना गया ह यद जHम पऽका म दब7ल बहःपित छठ भाव म (छठा

भाव रोग का भाव ह) ःथत ह1 तो LयA यकत क बीमार स पीccedilडत होता ह पीिलया क िशकायत

भी जHमपऽका म पीccedilडत बहःपित क कारण होती ह

एक पील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल

को पी ल यह योग रात म कर पील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 32: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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छत पर रख द और सबह इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको

लाभ िमलगा

हरा रग हरा रग हरा रग हरा रग

जल िचकसा म हर रग को राजा माना गया ह यह रग गमx और सद को सतिलत करता ह इसका

योग रोगाणनाशक क प म और वजातीय पदाथ7 को शरर स बाहर िनकालन म होता ह जो एलजx

का कारण बनत ह योितष म हरा रग बध मह का रग ह बध शरर क ितरोधक fमता एलजx

आद क कारक ह

जHम पऽका म बध यद कमजोर हो या पण7 अःत ह1 तो LयA सद जकाम आद का िशकार जBद-

जBद होता ह तथा धल पराग आद आद कण1 स एलजx क िशकायत रहती ह एक हर रग क काच

क बोतल लकर उसम साफ पानी भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग

रात म कर हर रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह

इस जल को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

नीला रग नीला रग नीला रग नीला रग

रग िचकसा म नील रग स आविशत जल का योग ःनाय तऽ म दब7लता डशन (Depression)

िमगx क रोगाद क उपचार क िलए योग कया जाता ह मडकल एःशोलॉजी म शिन को ःनाय तऽ

िमगx आद का कारक माना गया ह जHमपऽका म शिन यद पीccedilडत अवःथा म ह1 तो LयA को

ःनाय तऽ स सबिधत रोग1 का सामना करना poundडता ह यद शिन बलवान हो एव बध स सयोग कर ल

तो LयA (Neuro Surgeon) हो सकता ह एक नील रग क काच क बोतल लकर उसम साफ पानी

भरकर धप म रख द और शाम को उस जल को पी ल यह योग रात म कर

नील रग क काच क बोतल म पानी भरकर रात को अपन घर क छत पर रख द और सबह इस जल

को पी ल इसस कमजोर मह क ःथित म सधार होगा और आपको लाभ िमलगा

इस त-य स सामाHयजन अनजान हो सकत ह परHत वदक काल म ह वl1 को योितष का पया7r

ान होता था जस कार आयवgद म योितष का उBलख ह उसी कार योितष शा म भी कछ

ोक1 म आयवgद क नःख1 का सदर योग कया गया ह आ

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 33: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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धिनक LयA वदक कालीन इस त-य को जानकर भी इसस अनजान बन हए ह राऽ म दर स सोना

और सबह दर स उठना उHह1न अपनी दनचया7 का हःसा बनाया हआ ह व यह तो चाहत ह क ःवःथ

रह परHत बाल सय7 क करण1 क अभाव को Uयट पाल7र म जाकर Sauna Bath स परा करत ह

आधिनकता का एक और उदाहरण currenड होटल1 म पय दकर सय7 ःनान का आनHद िलया जाना भी ह

हम समझना होगा अपन ऋषय1 क ान क पराकाा को

सय7सय7सय7सय7 क रोश क रोश क रोश क रोश नी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए औरनी का लाभ उठाइए और र र र र हए िनरोगहए िनरोगहए िनरोगहए िनरोग

शरर को कछ ह fण1 म झलसा दन वाली गिम7य1 क चड धप स भल ह LयA ःवःथ होन क

बजाय उBट बीमार पड जाए लकन ाचीन मथ अथव7वद म सबर धप ःनान दय को ःवःथ रखन का

कारगर तरका बताया गया ह| उसम कहा गया ह क जो LयA सयदय क समय सय7 क लाल रमय1

का सवन करता ह उस दय रोग कभी नह होता|

अथव7वद म कहा गया ह क सयदय क समय सय7 क लाल करण1 क काश म खल शरर बठन स

दय रोग1 तथा पीिलया क रोग म लाभ होता ह| ाकितक िचकसा म आHतरक रोग1 को ठwक करन

क िलए भी नग बदन सय7 ःनान कराया जाता ह | सय7 िचकसा क िसFाHत क अनसार रोगोपz का

कारण शरर म रग1 का घटना-बढना ह| मानव शरर रासायिनक तव1 का बना ह| रग एक रासायिनक

िमौण ह| जस अग म जस कार क रग क अिधकता होती ह शरर का रग उसी तरह का होता ह|

जस वचा का रग गहआ कश का रग काला और नऽ1 क गोलक का रग सफद होता ह| शरर म रग

वशष क घटन-बढन स रोग क लfण कट होत ह जस खन क कमी होना शरर म लाल रग क कमी

का लfण ह|

इ डयन मडकल एसोिसएशन क सिचव डा अजय सहगल का कहना ह क आजकल जो बNच पदा होत

ह पीिलया रोग क िशकार हो जात ह उHह सयदय क समय सय7 करण1 म िलटाया जाता ह जसस

अBशा वायलट करण1 क स=पक7 म आन स उनक शरर क पगमHट सBस पर रासायिनक ितबया

ार=भ हो जाती ह और बीमार म लाभ होता ह| डाbटर भी नस7र म कऽम अBशावायलट करण1 क

Lयवःथा ल=प आद जला कर भी करत ह|

सय7 ःवाः-य और जीवन शA का भ डार ह| मनय सय7 क जतन अिधक स=पक7 म रहगा उतना ह

अिधक ःवःथ रहगा| जो लोग अपन घर को चार1 तरफ स खडकय1 स बHद करक रखत ह और सय7 क

काश को घर म घसन नह दत व लोग सदा रोगी बन रहत ह |

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 34: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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सय7 क रोग नाशक शA क बार म अथव7वद क एक मऽ म ःप9 कहा गया ह क सय7 औषिध बनाता

ह वm म ाण प ह तथा अपनी रमय1 ]ारा जीव1 का ःवाः-य ठwक रखता ह कHत यादातर लोग

अानवश अHधर ःथान1 म रहत ह और सय7 क शA स लाभ नह उठात |

सय7 प-वी पर ःथत रोगाणओ किमय1 को न9 करक ितदन रमय1 का सवन करन वाल LयA को

दघा7य भी दान करता ह|

अमजी म भी एक कहावत ह क लाइट इज लाइफ ए ड डाक7 नस इज डथ अथा7त काश ह जीवन ह

और अHधकार ह मय ह| जहा सय7 क करण पहचती ह वहा रोग क कटाण ःवत मर जात ह और

रोग1 का जHम ह नह हो पाता| सय7 अपनी करण1 ]ारा अनक कार क आवयक तव1 क वषा7 करता

ह और उन तव1 को शरर म महण करन स असाiय रोग भी दर हो जात ह|

वद1 म सय7 पजा का महव ह| ाचीन ऋष-मिनय1 न सय7 शA ाr करक ाकितक जीवन Lयतीत

करन का सHदश मानव जाित को दया था|

सय7 करण िचकसा क अनसार अलग -अलग रग1 क अलग-अलग गण होत ह| लाल रग उzजना और

नीला रग शA पदा करता ह| इन रग1 का लाभ लन क िलए रगीन बोतल1 म आठ-नौ घ ट तक पानी

रखकर उसका सवन कया जाता ह|

हाःय योग हाःय योग हाःय योग हाःय योग लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी लाyenटर थरपी

जीवन म सत9 भी जर ह आपन अbसर दखा होगा LयA उस चीज क िलए दखी होता ह जो उस

नह िमली लकन उसक िलए खश नह हो सकता जो उस हािसल हआ ह यह हमार सोच को दशा7ता

ह हम सोच को सकारामक कर लत ह तो हर जगह खशी हािसल होती ह

अमरका क एक िसF पऽकार क लखनी स बड़-बड़ सााय क साट1 का िसहासन हल उठता था

उसक नाम क इतनी धाक थी क बड़ स बड़ा आदमी उनक तक को काट नह पाता था दसर1 को

अपन तक स पराःत करना आसान ह लकन इHह तक स िनकलन वाली नकारामक ःथित स व

अपन आपको बचा नह सक डॉbटर1 क दवा कोई परणाम नह ला सक रपोट7 क वषाण स यह

िनकष7 िनकला क माऽ छह महन का ह जीवन शष रहा ह

िनराश और हताश पऽकार न सोचा छह महन बाद मरना ह तो फर bय1 रो-रोकर म इसस तो हसकर

मरना ौ ह अःपताल म उसक मःतक म एक वचार कधा नस7 स कहा क मडम म अपन म

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

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वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 35: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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को बद कर रहा ह अदर जोर1 स हसता रहगा आस-पास क लोग मझ पागल कह सकत ह दरवाज

खड़खड़ाना नह म ःवNछा स यह योग कर रहा ह मझ सहयोग करना तीस िमनट बाद म लौट

आऊगा महन भर यह बम चलता रहा इसक पWात डॉbटर1 न शरर को चक कया और पाया क

शरर म कछ सधार हआ जो दवा कछ काम नह कर रह थी उसका सकारामक असर होन लगा छह

महन लगातार हाःय क योग स परवत7न आया उसन LयAव को बदल दया जीवन क दशा भी

बदल गई

एक िचकसाएक िचकसाएक िचकसाएक िचकसा हसनाहसनाहसनाहसना कोई पागलपन नह बBक एक िचकसा ह औषिध ह जो काम दवा नह कर

सकती वह हसन क बया स हो जाता ह हसन स हमार मासपिशया फलती ह तनाव िनकल जाता ह

साथ ह आनद वातावरण म सारत हो जाता ह हसत समय LयA शरर मन भाव वचार स एकाम

बन जाता ह एक लयबFता आती ह बखर वचार एकाम हो जात ह एकामता LयA को अपन भीतर

धकल दती ह LयA अनचाह वत7मान म आ जाता ह

फफड़1 क िलए हसना ौतम बया ह हसना कमजोर mास रोग और दम म फायदमद होता ह पराना

कफ mास नली और फफड़1 म जमा हआ हो तो वह आराम स बाहर िनकलन लगता ह रोगी आराम

महसस करता ह फफड़1 म mास लन क fमता बढ़ती ह डाया ाम पट क ःनाय तऽ पHबयाज क

सबयता स इसिलन भी सबय हो जाता ह रोग ितकार fमता वकिसत होती ह हसन क बया स

कलोर खच7 होती ह जसस वजन म कमी आती ह बीपी सामाHय होन लगता ह

सHनता स शरर म ःफित7 का अनभव होता ह यह दय रोग को दर रखती ह शरर म बढ़ रह

वषमता को सम करती ह

हसन क बयाहसन क बयाहसन क बयाहसन क बया अमरका क िसF मनोिचकसक डॉbटर विलयम फॉय और डॉbटर ली वक7 पछल

तीस-पतीस वष स इस सबध म शोध कर रह ह और रोिगय1 पर योग कर उHह ःवाः-य लाभ पहचा

रह ह भारत क बड़-बड़ शहर1 म लाफग bलब मौजद ह हाःय योग नई बया नह ह बहत परानी

ह पौराणक मथ1 म भरत मिन न नाटय शा1 म हसन क आठ बयाए बताई ह उनम स तीन

बयाए ह- मA हाःय मद हाःय और मौन हाःय

मA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योगमA हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन1 हाथ घटन1 पर रख लबा सास ल सास छोड़त हए नीच

झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास छोड़त हए शरर को हलात हए हस शरर और हाथ1 को

फलात हए मAभाव स हस

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

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हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 36: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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मद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योगमद हाःय योग सखासन म ःथर रह दोन हाथ घटन1 पर उलट रख लबा सास ल और लबा सास

छोड़ सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ सास छोड़त हए मह को बद रख हसन

का पण7 अिभनय करत हए मद हाःय म अपन आपको लीन कर द मद हाःय इतना हावी हो जाए तब

वत7मान म आ जाए

मौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योगमौन हाःय योग सास भर सास छोड़त हए नीच झक सास भरत हए थोड़ा ऊपर उठ पन सास

छोड़त हए मौन हाःय का अिभनय कर

हाःय योग का ऎस म योग न कर

- कसी कार का हिन7या हो

- +लकोमा हो

- पाइBस जसम रA बह रहा हो

- एHजाइना दद7 हो

- कसी कार क ऑपरशन क पWात 3 माह तक हाःय योग न कर

हाःय योग तो एक योग ह कत हम हर समय खश रह सकत ह हमार मःकराहट हमार और हमार

आस-पास जो भी रहत ह उनक जदगी म सरसता घोलन क िलए अमततBय ह खशी कसी वःत क

ािr स एक बार हो सकती ह लकन अBपसमय पWात नकारामक सोच स मन दखी और अवसादमःत

हो सकता ह पनीिसBविनया वmवlालय क ोफसर सिलगमन सकारामक दश7न पर शfक लख

सकलन करन बठ तो बीस हजार लख1 म स कवल 800 लख ह इस ौणी म आए उनका मानना ह क

खशी वश पसा और भा+य का परणाम नह ह उनका मानना ह क LयA अपन भीतर क वशषताओ

क पजी को बढ़ाकर खशी हािसल कर सकत ह य गण ह उदारता सहन क fमता समता और पवऽता

खश रहन का मतलब कवल हसना नह ह खशी मन क वचार1 स िमलती ह

------------------------------------------------------------

वm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवसवm हाःय दवस वm भर म मई महन क पहल रववार को मनाया जाता ह इसका वm

दवस क प म थम आयोजन ११ जनवर १९९८ को मबई म कया गया था वm हाःय योग आदोलन

क ःथापना का ौय डॉ मदन कटारया को जाता ह हाःय योग क अनसार हाःय सकारामक और

शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

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रहत ह वm हाःय दवस का आरभ ससार म शाित क ःथापना और मानवमाऽ म भाईचार और

सदभाव क उय स हई वm हाःय दवस क लोकयता हाःय योग आदोलन क माiयम स पर

दिनया म फल गई आज पर वm म छह हजार स भी अिधक हाःय bलब ह इस मौक पर वm क

बहत स शहर1 म रिलया गोया एव स=मलन आयोजत कय जात ह

हाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उयहाःय दवस का उय

इस समय जब अिधकाश वm आतकवाद क डर स सहमा हआ ह तब हाःय दवस क अयिधक

आवयकता महसस होती ह इसस पहल इस दिनया म इतनी अशाित कभी नह दखी गई हर LयA क

अतर आम]] मचा हआ ह ऐस म हसी दिनयाभर म सकारामक ऊजा7 का सचार कर सकती ह हाःय

योग क अनसार हाःय सकारामक और शAशाली भावना ह जसम LयA को ऊजा7वान और ससार को

शाितपण7 बनान क सभी तव उपःथत रहत ह यह LयA क वlत-चबकय fऽ को भावत करता ह

और LयA म सकारामक ऊजा7 का सचार करता ह [१]जब LयA समह म हसता ह तो यह

सकारामक ऊजा7 पर fऽ म फल जाता ह और fऽ स नकारामक ऊजा7 को हटाता ह

हाःय एक साव7भौिमक भाषा ह इसम जाित धम7 रग िलग स पर रहकर मानवता को समHवय करन क

fमता ह हसी विभHन समदाय1 को जोड़कर नए वm का िनमा7ण कर सकत ह यह वचार भल ह

काBपिनक लगता हो लकन लोग1 म गहरा वmास ह क हसी ह दिनया को एकजट कर सकती ह

मानव शरर म पट और छाती क बीच म एक झBली होती ह जो हसत समय धकनी का काय7 करती

ह और परणामतः पट फफड़ और यकत क मािलश हो जाती ह हसन स ाणवाय का सचार अिधक

होता ह व दषत वाय बाहर िनकलती ह िनयिमत प स खलकर हसना शरर क सभी अवयव1 को

ताकतवर और प9 करता ह व शरर म रA सचार क गित बढ़ जाती ह तथा पाचन तऽ अिधक कशलता

स काय7 करता ह

---------------------------------------

हसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शAहसन म छपी ह उपचार क शA

सरH दर िसह सH दर मर तरफ दखत हए अपनी जीभ बाहर िनकालत ह मर आख1 म एकटक दखत ह

और अपनी मठया भीच लत ह लकन तभी अचानक फट पड़ा पड़ता ह हसी का एक ठहाका और व

जोर1 स हसन लगत ह

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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--------------------------------------

आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 38: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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बहत जदादली क साथ और शोर मचात हए उनक जोरदार ठहाक1 स उनक बगल भी हलन लगती ह

70 वषxय सरH दर िसह कहत ह क उनका व वास ह क उनक बहतरन ः वाः - य का एक बहत

मह वपण7 कारण ह और वो ह ndash शर जसी हसी सH दर िसह मबई क lsquoहाः य b लबrsquo क सदः य1 म स एक

ह और हाः य योग का बहत हस-हसकर अनपालन करत ह lsquoहाः य योगrsquo एक L यायाम ह म= बई क

िचक सक मदन कटारया और उनक प नी माधर न िमलकर इस lsquoहाः य योगrsquo को वकिसत कया ह

और इसक चार-सार क काम म लग हए ह ितदन सबह 45 िमनट का सामहक योग होता ह इस

योग का ारभ होता ह गहर वास क L यायाम स इसक बाद हाः य योग और अH य योग कए जात ह

हाः य योग क बार म डॉ कटारया बतात ह lsquoयोग क दौरान सब लोग एक-दसर क हसी क नकल

उतारत ह जो लोग हस रह ह1 उनक आख1 म आख डालकर दखन पर अपन आप ह हसी क ठहाक

फट पड़त हrsquo

इसक साथ-साथ हाः य क कछ दसर तकनीक भी ह जस क शर जसी हसी िततली जसी हसी (इस

हसी क दौरान लोग अपन दोन1 हाथ1 को िततली क तरह हलात ह) और ऐसी ह एक दज7न स यादा

कःम क हाः य ह य सभी तरक डॉ कटारया और उनक हाः य b लब क सदः य1 ]ारा वकिसत कए

गए ह और व और भी तरक वसिसत करन क िलए काफ उ साहत ह डॉ कटरया का कहना ह क

हाः य योग का पालन करन स ः वाः - य को बहद मह वपण7 लाभ ा| त होत ह हाः य योग स फफड़1 क

fमता का वकास होता ह लचीलापन बढ़ता ह ः मरण शA मजबत होती ह और तनाव म कमी आती

ह ऐसा नह ह क हर L यA इन बात1 स सहमत होगा ह लकन इस बात क पf म वािनक माण1

म िनरतर इजाफा हो रहा ह क हाः य योग ः वाः - य क िलए अ यत लाभकार ह अमरका क मरलन

व ववlालय क क िचक सा क ि क अi ययन म यह पाया गया क हाः य योग स एडोथीिलयम का

फलाव बढ़ता ह (रb त वाहकाओ क आतरक पत7 को एडथिलयम कहत ह) इसक फलाव स वाहकाओ

म रb त का वाह बढ़ नह पाता

अमरकन व ववlालय क एक अH य अi ययन म पाया गया क हसन स दय क गित म 10 स 20

ितशत तक बढ़ोzर होती ह और एक िमनट म 13 कलोर (ऊजा7) का ास होता ह यlप हसन क

तलना म तज दौड़न स आठ गना यादा फायदा होता ह लकन हरक कलोर जो आप कसी भी

माi यम स खच7 कर रह ह वह मायन रखती ह

यद आप एक वष7 तक ितदन 15 िमनट हसत ह तो इसस आपका दो कलो वजन कम होगा और यह

मजाक नह ह

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

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आपाधापी क यग म मन य सबह स शाम तक अवसाद म रहता ह इस अवसाद क कारण शाररक-

मानिसक बीमारया लगी रहती ह फर आज मनय का अह भी बहत बढ़ गया ह उसक आवयकताए

बढ़ गई ह जब आवयकताए पण7 नह होती या अह को चोट लगती ह तो उस बहत बोध आता ह

बोध क माऽा क अनसार ह उसका असर रहता ह- 4 घट 8 घट 12 घट ऐस म कछ यौिगक बयाए

मन पर काब पान म सहायक हो सकती ह

जस- आसन ाणायाम iयान डप ीदग योग िनिा शवासन हाःय योग इसम स हाःय योग एक

आसान व सहज बया ह इसक िलए दनभर म कम स कम एक वA दल खोलकर हसना चाहए

परान समय म राजा-महाराजाओ क दरबार म भी वदषक व बहपया प बदलकर या चटकल सनाकर

लोग1 को हसात थ उनका मनोरजन करत थ आजकल सभी महानगर1 म हाःय bलब श हो गए ह

योग सटस7 पर भी हाःय क बया करवाई जाती ह

हसन स आतरक भाग1 क चहर क मासपिशय1 को बहत लाभ होता ह इसस लbटव एिसड (दषत

पदाथ7) बाहर जाता ह मःतक क अBफा वन एbटव होती ह तथा बीटा वन डाउन होती ह जसस

आनद क अनभित होती ह पयटर +लस एसनल +लस भावत होती ह जसस भय तनाव और

अवसाद दर होता ह समह म हसन स अिधक लाभ होता ह जब मन य हसता ह तो वह कछ पल1 क

िलए सबस अलग हो जाता ह उसक वचार1 क ौखला टट जाती ह एकामता आती ह मन-मःतक

खाली व हBक होन लगत ह

हसाकर बीमार1 का इलाज भी आसानी स होता ह बीमार स राहत जBद िमलती ह जनका मन

मःतक फBलत होता ह उHह उतना ह जBद आराम िमलता ह ःवीडन क डॉ लास7 लजगदहल न

एक नई हाःय िचकसा पFित मःकरोपथी श क थी इसक ]ारा शाररक मानिसक अनक बीमारया

ठwक होती ह

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

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मःकरोपथी स सभी काय7 सफल होत ह आपक आसपास एक सकारामक वातावरण बनता ह इसिलए

आज का नारा ह- मःकराओ व ःवःथ रहो

अगर आप iयान लगाना चाहत ह तब तो और भी हस bय1क यह iयान क पहली सीढ़ ह हो सकता

ह क आपको यह पढ़कर कछ ताजब हो लकन वशष1 का यह मानना ह यद आप iयान का

अnotयास करना श करत ह तो सबस पहल इधर-उधर भटक रह मन को एकामिचत करना होता ह जब

हम हसत ह तब भी सब कछ भल कर एकामिचत हो जात ह बीत दन1 क पीड़ा पीछ छट जाती ह

हसत समय हमारा दमाग तनावमA होकर िसफ7 वत7मान पर क ित हो जाता ह हमारा शरर सवदना

और आमा भी इस बया म स=मिलत हो जाती ह यद कोई LयA सबह क समय हाःय iयान योग

का अnotयास करता ह तो वह दन भर सHन रह सकता ह यद शाम को इसका अnotयास कया जाए तो

न कवल रात को अNछw नीद आती ह बBक सखद सपन भी आत ह

मन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योगमन क शA का योग

हाःय योग गv जतन कोह कहत ह क हसना भी योग ह जहा हाःय का अथ7 ह मन क ऊजा7 को

बढ़ाना वह योग का मतलब होता ह जोड़ना इसिलए य दोन1 एक दसर क पया7यवाची ह हमारा दमाग

मयत दो भाग1 म बटा हआ ह-वचार और मन शरर क 90 ितशत ऊजा7 मन क िलए और 10

ितशत वचार1 क िलए सरfत रहती ह उदाहरण क िलए यद हम कोई काय7 करना चाहत ह तो

हमारा सढ़ मन ह उस परा करन क िलए ज=मदार होता ह जब तक हमारा मन सढ़ नह होगा

iयान म जाना कठन ह हालाक यह भी सच ह क अिधकाश लोग मन क शA का माऽ 10 ितशत

ह उपयोग कर पात ह यद हम हाःय योग का अnotयास करत ह तो मन क शA का अिधक स

अिधक योग कर पात ह हसना मन क खराक ह

हसन क कई फायद ह इसस सकारामक ऊजा7 बढ़ती ह हमार मःतक को बहत अिधक माऽा म

ऑbसीजन क जरत होती ह हसन स बड़ माऽा म हवा शरर क अदर चली जाती ह इस बम म फ

फड़1 का भी Lयायाम हो जाता ह एक रसच7 क अनसार ऑbसीजन क उपःथित म क सर कोिशका और

कई कार क हािनकारक बbटरया और वायरस न9 हो जात ह हसन स शरर का ितरfा तऽ मजबत

होता ह यह त-य ह क तनाव बोध आद म मःतक क 40 मासपिशय1 को बयाशील होना पड़ता ह

वह हसन पर कवल 14 मासपिशय1 को ह काम करना पड़ता ह हाःय योग स हमार शरर म कई

कार क हामस का ॐाव होता ह जो हमार शरर क िलए बहत फायदमद होता ह यह मधमह तनाव

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द

Page 41: Alternative Indian Therapies in Hindi_A Collection by Kamlesh Maheshwari

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पीठ दद7 स पीडत LयA को लाभ पहचाता ह यद आप रोजाना एक घटा हसत ह तो लगभग 400

कलोर ऊजा7 क खपत हो जाती ह

दय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमददय क िलए फायदमद

हाट7 कयर ऑफ इडया क िसडट डॉ कक अमवाल क अनसार हसना दय क िलए बहत फायदमद ह

यद आप हसत ह तो आपक शरर स एडोफ7 न रसायन पदा होता ह यह िव दय को मजबत बनाता

ह हसन स हाट7 अटक क सभावनाए कम हो जाती ह इसिलए िचता छोड़ और खब हस

हसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाएहसी क अवःथाए

सचत हसी क 3 अवःथाए ह यक अवःथा 5-20 िमनट क होती ह

bull अगड़ाई लत हए अपन शरर को तान और गहर सास ल शरर को तानन क शvआत हथिलय1

और तलव स कर इसक बाद बम स शरर क अHय अग1 म तनाव लाए अपन मह को खोल

और चहर क सभी मासपिशय1 म तनाव लात हए कई विचऽ आकितया बनाए

bull कछ मजदार fण1 को याद कर हBक-फBक चटकल लतीफ1 को भी याद कर हस यद आपन

हसना-खलखलाना श कर दया ह तो इस जार रख ःवय को यह एहसास कराए क हसी

आपक दय पट स गजरती हई आपक तलव1 तक आ गई ह अब आप जमीन पर लटकर शरर

को गोल-गोल घमाए लकन इस दौरान हसत भी जाए

bull हाःय iयान का अितम चरण मौन ह अपनी आख बद कर चपचाप अपनी सास1 पर iयान द